लखनऊःबहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले अति पिछड़ा कार्ड खेलते हुए भीम राजभर को बसपा का नया प्रदेश अध्यक्ष घोषित किया है. बसपा सुप्रीमो मायावती ने खुद ट्वीट करके भीम राजभर को प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने की जानकारी दी है. भीम राजभर बसपा के पुराने नेता हैं और वह पार्टी के हर मूवमेंट से जुड़े हुए हैं.
मायावती ने भीम राजभर को बनाया बसपा प्रदेश अध्यक्ष
बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले अति पिछड़ा कार्ड खेलते हुए राजभर समाज से आने वाले भीम राजभर को बसपा का नया प्रदेश अध्यक्ष घोषित किया है. बसपा सुप्रीमो मायावती ने खुद ट्वीट करके भीम राजभर को प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने की जानकारी दी है.
बसपा के पुराने नेता हैं भीम राजभर
भीम राजभर बहुजन समाज पार्टी के पुराने नेता हैं और वह अति पिछड़ी जाति में राजभर समाज से आते हैं. बसपा से काफी पहले से जुड़े होने के नाते उन्हें यह बड़ी जिम्मेदारी मायावती ने संगठन की सौंपी है. भीमराज पर मूल रूप से आजमगढ़ मंडल के मऊ जिला के रहने वाले हैं. बसपा के यूपी इकाई के प्रदेश अध्यक्ष बनाए गए भीम राजभर बहुजन समाज पार्टी के मूवमेंट के साथ शुरू से जुड़े हुए हैं. बसपा सुप्रीमों ने ट्वीट कर राजभर को बधाई दी है.
उपचुनाव में मिली हार के बाद अध्यक्ष मुनकाद अली को पद से हटाया
बसपा सुप्रीमो मायावती ने निवर्तमान प्रदेश अध्यक्ष मुनकाद अली को पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष पद से हटाते हुए अब भीम राजभर पर भरोसा जताया है. यूपी की 7 विधानसभा सीटों पर हुए उपचुनाव में एक भी सीट बसपा के खाते में न आने के चलते प्रदेश अध्यक्ष मुनकाद अली को हटाए जाने की जानकारी पार्टी के नेताओं की तरफ से दी जा रही है. अब देखने वाली बात यह होगी कि बसपा सुप्रीमो मायावती 2022 के विधानसभा चुनाव को देखते हुए भीम राजभर को प्रदेश अध्यक्ष की कमान सौंपना कितना फायदेमंद साबित होता है. दलितों के साथ-साथ अति पिछड़ा कार्ड चलने की रणनीति कितनी सफल होती है, यह तो चुनाव में ही पता लगेगा.
2012 में लड़ा था विधानसभा चुनाव
मऊ जनपद कोपागंज थाना क्षेत्र के मोहम्मदपुर उर्फ बाबूपुर गांव के निवासी भीम राजभर छात्र जीवन से ही राजनीति में आगे रहे. सामाजिक संस्थान नेहरू युवा केंद्र से जुड़े भीम राजभर आर्ट ऑफ लिविंग के युवाचार्य से राजनीति में अपना कदम बढ़ाया. शुरू से ही बसपा के साथ जुड़े रहे. बसपा ने जिला अध्यक्ष बनाया और उसके बाद 2012 में सदर विधानसभा से प्रत्याशी बनाकर मैदान में उतारा. हार के बाद उसी उत्साह जोश के साथ पार्टी के कामों में लगे रहने के कारण सुप्रीमो ने उन्हें छत्तीसगढ़ का प्रभारी मनोनीत किया. अब उत्तर प्रदेश का अध्यक्ष बनाये जाने से भीम राजभर के समर्थकों में खुशी की लहर है.