लखनऊ:साल 2022 में लखनऊ नगर निगम ने 292 करोड़ 80 लाख रुपए का हाउस टैक्स वसूल किया है.इस साल नगर निगम बकायेदारों से हाउस टैक्स वसूली करने के लिए बड़े स्तर पर अभियान चलाया था जिसका नतीजा यह रहा कि उसने अपने ही रिकॉर्ड को तोड़ने में सफलता पाई है. गृह कर वसूली के मामले में लखनऊ नगर निगम बीते 10 सालों से फिसड्डी रहा है.
हाउस टैक्स की वसूली के चलाया अभियान:नगर निगम की आय का मुख्य स्रोत हाउस टैक्स है. ऐसे में बीते कई सालों से नगर निगम शहर के बड़े बकायेदारों से गृह कर की वसूली नहीं कर पाई थी. मगर इस बार नगर निगम ने विशेष अभियान चलाकर वित्तीय वर्ष 21-22 में 292 करोड़ 80 लाख रुपए वसूली की. इस साल निगम ने बकायेदारों के घरों,भवनों और प्रतिष्ठानों को सील करने जैसी कड़ी कार्रवाई की तो फिर लोगों ने हाउस टैक्स देना शुरू किया.
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हर दिन होती थी समीक्षा:नगर आयुक्त अजय कुमार द्विवेदी ने बताया कि गृह कर की वसूली ज्यादा से ज्यादा करने के लिए अभियान चलाया गया था.अधिकारियों को प्रतिदिन समीक्षा करने के लिए दिशा निर्देश दिए गए थे. जिसका असर यह हुआ कि बड़े एवं शासकीय बकायेदारों से अधिक प्रभावी तरीके से वसूली की गई और योजनाबद्ध प्रयासों के अमल में लाने के बाद राजस्व वसूल किया गया है.
बीते 10 वर्षों का कलेक्शन: बीते 10 वर्षों से गृह कर की वसूली करने के मामले में लखनऊ नगर निगम फिसड्डी साबित रहा था. साल 2012-13 में 83.14 करोड़, 2013-14 में 107.88 करोड़, 2014-15 में 130.14 करोड़, 2015-16 में 150.44 करोड़, 2016-17 में 192.26 करोड़, 2017-18 में 177.02 करोड़, 2018-19 में 234.16 करोड़, 2019-20 में 208.21 करोड़, 2020-21 में 270.84 करोड़ और 2021-22 में 292.80 करोड़ रुपया वसूल किया गया है.
डिफाल्टरों पर लगाया 12 फीसदी ब्याज: वित्तीय वर्ष 2021-22 में हाउस टैक्स जमा न कर पाने वाले बकायेदारों को अब बकाया धनराशि पर 12 प्रतिशत पेनल्टी के साथ हाउस टैक्स जमा करना पड़ेगा. आयुक्त अजय कुमार द्विवेदी ने बताया कि यह आदेश लखनऊ नगर निगम पहले ही जारी कर चुका है.
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