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समय पर जेल न पहुंचने वाले कैदियों पर होगी कार्रवाई: जेलर PN पांडेय - lucknow jailer pn pandey

सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार 7 साल तक की सजा काट रहे कैदियों को कोरोना महामारी के चलते पैरोल पर छोड़ा गया है. उन कैदियों पर जेल प्रशासन व उनके गृह जनपद के संबंधित थाना अपनी पहली नजर बनाए हुए है. अगर कैदी समय पूरा होने पर जेल वापस नहीं आते हैं तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

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लखनऊ सेंट्रल जेल.

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Published : Jun 1, 2020, 7:09 AM IST

Updated : Jun 18, 2020, 1:09 PM IST

लखनऊ: कोरोना महामारी के चलते लखनऊ सेंट्रल जेल के कैदियों को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर 8 हफ्तों के पैरोल पर रिहा किया गया था. इसके बाद उनकी मियाद 8 हफ्ते और बढ़ा दी गई है. लखनऊ सेंट्रल जेल के अधीक्षक पीएन पांडेय ने ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए बताया कि छोड़े गए कैदियों पर किस तरह से निगरानी की जा रही है. जेलर ने बताया कि अगर तय समय पर कैदी वापस नहीं लौटे तो उन पर कड़ी कार्रवाई होगी.

लखनऊ सेंट्रल जेल के जेलर पीएन पांडेय से बातचीत करते संवाददाता.

सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर राजधानी लखनऊ के सेंट्रल जेल से 750 कैदी छोड़े गए हैं. जो उत्तर प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली व बिहार के रहने वाले हैं. ईटीवी भारत से खास बातचीत करते हुए जेल अधीक्षक पीएन पांडेय ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के अनुसार लखनऊ सेंट्रल जेल से 750 कैदी छोड़े गए हैं, जिनके गृह जनपदों के पुलिस कप्तान व संबंधित थाने से संपर्क कर जेल प्रशासन द्वारा लगातार इन कैदियों के बारे में जानकारी ली जा रही है.

जेल अधीक्षक ने बताया कि ये सभी वो कैदी हैं, जो 7 साल तक की सजा जेल में काट रहे थे. इनमें कुछ विचाराधीन कैदी भी शामिल हैं. जेलर ने बताया कि अगर छोड़े गए कैदी समय पर जेल वापस नहीं आते हैं तो उनके खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी और भविष्य में उन्हें पैरोल भी नहीं दी जाएगी.

Last Updated : Jun 18, 2020, 1:09 PM IST

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