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सउदी अरब भेजने वाली एजेंसियों ने कई युवाओं की जिंदगी बनाई जहन्नुम, विदेश जाने से पहले ये बातें जाननी जरूरी - UP News

सऊदी अरब या अन्य खाड़ी देशों में जाॅब (Jobs in Gulf Countries) करने के इच्छुक युवाओं को टूर एंड ट्रैवल एजेंसियां खूब मुनाफा वसूलती हैं. कई एजेंसियां युवाओं को भेजने के बाद अपने दायित्व से किनारा कर लेती हैं या फिर मनमाने पैसे मांग कर परिजनों से खूब उगाही करती हैं. ऐसे में जानिए क्या एहतियात बरतने जरूरी हैं.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Nov 20, 2023, 7:47 PM IST

लखनऊ : 'मैं तीन माह वहां रुका, एक छोटे से कमरे में 15 लोगों के साथ ठूंस कर रखा गया, काम दिया न खाने के लिए पैसे. इन तीन माह में मेरी जिंदगी जहन्नुम बन गई. यह कहना है अमेठी जिले के रहने वाले वारिस अली का. वारिस जॉब के लिए एक टूर एंड ट्रैवल के जरिए वीजा लेकर सऊदी गए थे. टूर एंड ट्रैवल कंपनी ने उन्हें धोखा देकर भेजा और जब वापस आने के लिए वारिस ने मिन्नतें कीं तो उससे ब्लैकमेल कर 60 हजार रुपये और वसूल लिए. वारिस जैसे ही न जाने कितने भारतीय गलत एजेंट के चक्कर में फंस खाड़ी देश जाते है और फिर वहां परेशान होते हैं. ऐसे में यदि आप भी साउदी जा रहे हैं तो इन बातों का जरूर ध्यान दें.

विदेश जाने से पहले करें ये काम.


15 दिनों में ही जिंदगी बन गई थी जहन्नुम :सऊदी से लौटे गोंडा निवासी वारिस ने बताया वे सउदी में सिर्फ 15 दिन ही रुके थे. इन 15 दिनों में उनकी जिंदगी जहन्नुम से भी बद्तर हो गई थी. उन्होंने बताया कि वो मकैनिक की नौकरी के लिए वीजा लेकर सउदी गए थे. उनके वीजा से लेकर नौकरी तक व्यवस्था एक एजेंट के द्वारा को गई थी. एजेंट के द्वारा बताया गया था कि जैसे ही वो सउदी पहुंचेंगे तो वहां एक एजेंट उन्हे रिसीव करने आएगा, लेकिन हुआ ऐसा नही और वहां कोई भी नहीं पहुंचा. वो टैक्सी लेकर भारत के एजेंट द्वारा बताए गए ऑफिस में पहुंचा. वहां उसे करीब 20 लोगों के साथ एक कमरे में रखा गया. उसे वो जगह भी तस्वीर में दिखाई गई जहां उसे काम करना है, लेकिन कब करना है ये नहीं बताया गया. वारिस ने अपने घर पर कॉल की पैसों की व्यवस्था करवाई और वापस भारत आ गए.

अरब देश में नौकरी के झांसे बचें.




90 दिन काम दिया न नौकरी, वापस बुलाने पर किया ब्लैकमेल :अमेठी के रहने वाले वारिस अली ने बताया कि उन्होंने काईट टूर एंड ट्रैवल कंपनी से संपर्क किया था. जिन्होंने 58 हजार रुपये लेकर सवेल ऑपरेटर की नौकरी के लिए सउदी भेजा था. जब पहुंचने पर पता चला वहां ऐसी कोई कंपनी है ही नहीं. इसके चलते उन्हें 90 दिनों तक तक छोटे से कमरे में 15 लोगों के साथ रखा गया. इसके बाद रियाद ले जाया गया. यहां पांच दिनों तक कमरे में रखा गया. वहां तनख्वाह दी न ही खाना खाने के लिए पैसे दिए गए. ऐसे में उन्होंने टूर एंड ट्रैवल के मालिक सफीक को कॉल करके उन्हें वापस बुलाने के लिए कहा तो उसने कहा कि 3000 सउदी रियाल (70 हजार रुपये भारतीय मुद्रा) दो, तभी वापस बुलाएंगे और ज्यादा बोले तो चोरी का इल्जाम लगवा कर सउदी में ही जेल भिजवा दूंगा. वारिस ने किसी से कर्ज लेकर 56 हजार रुपये सफीक को दिए तब वापस आ सका.






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