लखनऊ :हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने राजस्व संहिता के उत्तराधिकार सम्बंधी तीन प्रावधानों को चुनौती देने वाली जनहित याचिका पर महाधिवक्ता को पक्ष रखने का आदेश दिया है. न्यायालय के समक्ष उक्त याचिका दाखिल करते हुए कुछ प्रावधानों को महिलाओं से भेदभाव करने वाला बताया गया है. यह आदेश न्यायमूर्ति देवेन्द्र कुमार उपाध्याय और न्यायमूर्ति ओम प्रकाश शुक्ला की खंडपीठ ने सिद्धार्थ शुक्ला की ओर से दाखिल जनहित याचिका पर पारित किया.
याचिका में उत्तर प्रदेश राजस्व संहिता की धारा 108, 109 और 110 को चुनौती दी गई है. याची की ओर से दलील दी गई कि उक्त प्रावधान एक विवाहित महिला को कृषि भूमि के उत्तराधिकार के लिहाज से निचले क्रम में रखते हैं जो संविधान के अनुच्छेद 14, 15(1) और 19(1)(जी) का स्पष्ट उल्लंघन है. दलील दी गई कि कोई भी कानून पुरातन हो जाने की दशा में वर्तमान परिस्थितियों के अनुसार व्याख्यायित किया जाना चाहिए. कहा गया कि जिन प्रावधानों को चुनौती दी गई है, उन्हें बनाए नहीं रखा जा सकता.