लखनऊ:राजधानी के विभूति खंड इलाके में मैक्सवैल अस्पताल एंड ट्रॉमा सेंटर में 58 साल के बुजुर्ग की मौत के बाद परिजनों ने अस्पताल के डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया. यही नहीं परिजनों का आरोप है कि जब उन्होंने शव ले जाने का मन बनाया तो अस्पताल प्रशासन ने उनसे शव ले जाने के बदले पैसे चुकाने की शर्त रखी.
कम पैसों का दिया लालच
विभूति खंड के कठौता झील के पास स्थित मैक्सवैल अस्पताल एंड ट्रॉमा सेंटर में इंदिरा नगर सेक्टर 19 के रहने वाले 58 वर्षीय अशोक वर्मा की अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई. अशोक वर्मा को पेट में दर्द होने के चलते पहले देर रात सरकारी अस्पताल ले जाया गया, लेकिन अस्पताल में बेड न होने के कारण परिजनों को वहां से लौटा दिया गया. दो बड़े सरकारी अस्पतालों का चक्कर काटने के बाद एंबुलेंस चालक ने उन्हें इस अस्पताल में कम पैसे में बेहतर इलाज का लालच देकर भर्ती करवा दिया.
अस्पताल ने मांगे पैसे
परिजनों का आरोप है कि उन्हें अस्पताल में 16 घंटे तक पूरे नहीं हुए और अस्पताल में इलाज और दवाई के नाम पर तकरीबन 40 हजार वसूल लिए गए. पेशे से कैटरिंग का काम करने वाले अशोक वर्मा का परिवार आर्थिक तंगी से जूझ रहा था. परिजनों का आरोप है कि डॉक्टरों की मनमानी और अस्पताल प्रशासन की लापरवाही के चलते उनके मरीज की मौत हो गई. कहासुनी के बाद अशोक वर्मा के परिजनों ने शव मांगा तो अस्पताल प्रशासन ने शव के बदले बकाया भुगतान जमा करने की शर्त रख दी.
घरवालों को धक्के मारकर निकाला बाहर
अस्पताल में मौजूद कर्मचारियों और सिक्योरिटी के लोगों ने मृतक मरीज के बेटे-बेटी, बहू और पत्नी को अस्पताल के बाहर धकेल दिया. परिजनों के मुताबिक पहले तो अस्पताल वालों ने इलाज के नाम पर हजारों की रकम ऐंठ ली और जब उनकी लापरवाही से मौत हो गई तो लाश के बदले पैसे देने की शर्त पर वो अड़ गए. परिजनों ने इस बात की सूचना पुलिस को डायल 112 के जरिए दी. मौके पर पहुंची पुलिस मामले की तफ्तीश में जुट गई और बंद कमरे में अस्पताल प्रशासन के साथ मीटिंग शुरू कर दी.