लखनऊ: राजधानी में स्थित एसजीपीजीआई का स्थापना दिवस मंगलवार को मनाया गया. संस्थान के 38वें स्थापना दिवस पर लिवर ट्रांसप्लांट के साथ-साथ हार्ट ट्रांसप्लांट शुरू करने का एलान किया गया. इसके अलावा दिसम्बर अंत से एयर एम्बुलेंस सेवा मुहैया कराने का दावा किया गया. इस दौरान बेस्ट रिसर्च और बेहतर कार्य करने के लिए डॉक्टरों और कर्मचारियों को सम्मानित किया गया.
पीजीआई बनाएगा रोबोटिक मशीन
एसजीपीजीआई(Sanjay Gandhi Postgraduate Institute of Medical Sciences) के निदेशक डॉ आरके धीमान ने संस्थान की वार्षिक रिपोर्ट पेश की. इस दौरान उन्होंने कहा कि संस्थान ने कोरोना की पहली और दूसरी लहर में अहम भूमिका निभाई. यहां के विशेषज्ञों ने कोविड गाइड लाइन बनाने से लेकर लेवल थ्री के इलाज की सुविधा में बड़ा योगदान दिया. इतना ही नहीं ब्लैक फंगस का भी इलाज शुरू किया गया. अब टेलीआईसीयू नेटवर्क के द्वारा मेडिकल कॉलेजों के आईसीयू को जोड़ा जाएगा. डॉ आरके धीमान के मुताबिक, संस्थान द्वारा इलेक्ट्रॉनिक उपकरण और तकनीक को बढ़ावा दिया जाएगा. इसके लिए एसजीपीजीआई और केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं इंफॉर्मेटिक्स विभाग के बीच करार हुआ है. इसके तहत बनने वाले मेडिकल सेंटर फॉर एक्सीलेंस का काम जल्द शुरू हो जाएगा. मेडिकल इलेक्ट्रॉनिक के क्षेत्र में कई योजनाओं पर काम चल रहा है. इसमें रोबोटिक, डायग्नोस्टिक क्षेत्र की मशीन, उपकरण बनाए जाएंगे. वहीं दिसम्बर अंत से एयर एम्बुलेंस सेवा शुरू की जाएगी. इसके अलावा लिवर प्रत्यारोपण के साथ हार्ट ट्रांसप्लांट भी शुरू किया जाएगा. इसके लिए चेन्नई में डॉक्टरों की ट्रेनिंग कराई गई है. साथ ही इमरजेंसी मेडिसिन विभाग और ट्रांसप्लांट सेंटर भी शुरू होगा.
मुख्य सचिव राजेन्द्र तिवारी ने कहा कि कोरोना एक अदृश्य दुश्मन था. पूरे विश्व में तेजी से फैल रहा था. इसके बारे में शुरुआती दिनों में अधिक जानकारी भी नहीं थी. वहीं आईसीयू समेत तमाम संसाधन भी सीमित थे. इस दौरान डॉक्टर और कर्मचारी ने अपनी कार्यकुशलता और साहस के जरिए वायरस से लड़ने में सफल हुए. इसमें एसजीपीजीआई नेतृत्व और मार्गदर्शक की भूमिका में रहा. कोविड से निपटने के लिए प्रोटोकॉल और गाइड लाइन बनाई. कार्यक्रम के दौरान पद्मश्री डॉ रवि कन्नन भी ऑनलाइन जुड़े. उन्होंने कहा कि मरीजों को बेहतर इलाज मुहैया कराने के लिए सरकार सेवाओं का विस्तार कर रही है ताकि उन्हें दिल्ली-मुंबई की दौड़ से निजात मिले.
इन्हें किया गया सम्मानित
बेस्ट रिसर्च अवॉर्ड फैकल्टी : प्रो उज्ज्वला घोषाल, डॉ गौरव पांडेय, डॉ मोईनक सेन, डॉ आकाश पंडिता, प्रो अमित अग्रवाल, डॉ अरुण श्रीवास्तव, डॉ कुंतल कांति, प्रो स्वस्ति तिवारी, डॉ कलिकुर रहमान, डॉ प्रभाकर मिश्रा, डॉ रोहित सिन्हा को बेस्ट रिसर्च अवॉर्ड फैकल्टी से सम्मानित किया गया. बेस्ट वर्क स्टाफ अवॉर्ड से रेजीडेंट डॉ जय कुमार, डॉ वंदन, डॉ वसुंधरा, स्टाफ नर्स रचना, ज्योति कुमारी, टेक्नीशियन धीरज सिंह, सुनील कुमार को सम्मानित किया गया.
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