लखनऊ : यूपी में अब कोरोना की तर्ज पर डेंगू मरीजों का इलाज होगा. इस कड़ी में पीजीआई में पहली बार डेंगू मरीजों के लिए 64 बेड आरक्षित किए गए हैं. ऐसे में राजधानी लखनऊ समेत प्रदेश के किसी भी अस्पताल से रेफर होकर आने वाले डेंगू मरीजों का इलाज पीजीआई के डॉक्टर करेंगे. गंभीर मरीजों के लिए पोस्ट ऑफ आईसीयू और क्रिटिकल केयर मेडिसिन (Post of ICU and Critical Care Medicine) में भी अलग व्यवस्था की गई है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर शासन ने प्रदेश में बेकाबू हो रहे डेंगू से बचाव के लिए यह कदम उठाए हैं. पीजीआई के राजधानी कोविड-19 में कोरोना मरीजों पर बेहतर इलाज करने और टेलीमेडिसिन की मदद से दूसरे मेडिकल कॉलेजों में भर्ती श्रमिकों के इलाज में अहम भूमिका निभाई. जिसके चलते शासन स्तर पर गठित हाई पावर कमेटी ने डेंगू के इलाज का जिम्मा पीजीआई को सौंपा है.
कोरोना की तर्ज पर एसजीपीजीआई में होगा डेंगू मरीजों का इलाज, आरक्षित किए गए 64 बेड - PGI Director Dr Radhe Krishna Dhiman
यूपी में अब कोरोना की तर्ज पर डेंगू मरीजों का इलाज होगा. इस कड़ी में पीजीआई में पहली बार डेंगू मरीजों के लिए 64 बेड आरक्षित किए गए हैं. ऐसे में राजधानी लखनऊ समेत प्रदेश के किसी भी अस्पताल से रेफर होकर आने वाले डेंगू मरीजों का इलाज पीजीआई के डॉक्टर करेंगे. गंभीर मरीजों के लिए पोस्ट ऑफ आईसीयू और क्रिटिकल केयर मेडिसिन (सीसीएम) में भी अलग व्यवस्था की गई है.
पीजीआई निदेशक डॉ राधे कृष्ण धीमान (PGI Director Dr Radhe Krishna Dhiman) का कहना है कि डेंगू मरीजों के लिए तैयारियां पूरी हैं. सभी विभागाध्यक्षों को तैयार रहने के निर्देश दिए गए हैं. डेंगू के इलाज के लिए डॉक्टरों की टीम बनाई है. डेंगू मरीजों के लिए 13 विभाग में 4-4 बेड आरक्षित हैं. जिनमें सात बड़ों, 6 बच्चों के विभाग में 4-4 बेड आरक्षित हैं. आईसीयू सीसीएम में 6-6 बेड आरक्षित किए हैं. पीजीआई के गैस्ट्रोलॉजी, न्यूरोलॉजी, इंडोक्रनोलॉजी, इम्यूनोलॉजी, इमरजैंसी मेडिसिन, पीडियाट्रिक, नेफ्रोलॉजी और मेडिसिन जेनेटिक्स समेत 13 विभाग में चार-चार बेड पर डेंगू मरीज भर्ती होंगे।
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