लखनऊ: ऑनलाइन की दुनिया ने जैसे-जैसे लोगों की जिंदगी को आसान किया है, वैसे-वैसे ऑनलाइन ट्रांजैक्शन जैसी सुविधाएं साइबर अपराधियों के लिए लोगों की रकम हड़पने का आसान रास्ता बनती जा रही हैं. लखनऊ के आलमबाग इलाके में मेडिकल केयर सेंटर एंड हॉस्पिटल है, जिसे डॉक्टर दंपत्ति देवेश राजानी और उनकी गायनेकोलॉजिस्ट पत्नी पीयूषा वादवानी रजानी चलाते हैं. डॉक्टर पीयूष राजानी की मानें तो चार दिन पहले अचानक उनके पास वो मरीज दिखाने आने लगे, जिनका न तो अपॉइंटमेंट था और न ही पहले से कोई बातचीत, लेकिन मरीज कह रहे थे कि उन्होंने ऑनलाइन अपॉइंटमेंट लिया है. साथ में शिकायत भी कर रहे थे कि अपॉइंटमेंट लेने के बाद उनके खातों से पैसे निकलने लगे हैं.
डॉक्टर से साइबर सेल से किया संपर्क
इसी दौरान एक मरीज ने उस डॉक्टर से ऑनलाइन अपॉइंटमेंट लेने की बात कही जो डॉक्टर ऑनलाइन अपॉइंटमेंट वाले doc on एप पर थी ही नहीं. बिना अपॉइंटमेंट के मरीजों का आना और फिर खाते से रकम निकलना और अब उस डॉक्टर का अपॉइंटमेंट मिलना जो ऑनलाइन अपॉइंटमेंट में है ही नहीं. डॉक्टर पीयूषा को ये सब खटकने लगा और उन्होंने साइबर सेल को संपर्क किया.