लखनऊः केंद्र की मोदी सरकार और उत्तर प्रदेश की योगी सरकार की कार्यशैली के खिलाफ जल्द ही भारत की कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) सड़कों पर उतरकर जोरदार प्रदर्शन करेगी. किसानों की बात न सुनने को लेकर केंद्र सरकार पर और बदायूं की घटना के साथ ही धर्म परिवर्तन व अन्य मुद्दों को लेकर योगी सरकार पर हमलावर होगी. गुरुवार को लखनऊ स्थित पार्टी मुख्यालय पर बैठक के बाद पोलित ब्यूरो सदस्य सुभाषिनी अली सहगल और राज्य सचिव डा. हीरालाल यादव ने इसकी जानकारी दी है.
लोगों को जबरन घर में कैद कर रही है सरकार
'ईटीवी भारत' से बातचीत में पोलित ब्यूरो सदस्य सुभाषिनी अली सहगल ने योगी सरकार पर प्रहार करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश में भाजपा की योगी सरकार संवैधानिक, लोकतांत्रिक मूल्यों और मर्यादाओं को दरकिनार कर हर विरोधी आवाज को कुचलने और विरोधियों को प्रताड़ित करने का सिलसिला जारी रखे हुए है. आंदोलन करने वालों व किसान आंदोलन का समर्थन करने वालों के खिलाफ असंवैधानिक कानूनों, फर्जी मुकदमों, नजरबंदी और गिरफ्तारियों का इस्तेमाल कर उन्हें डरा रही है.
प्रदेश में जंगलराज कायम
प्रदेश सरकार ने पूरी नौकरशाही को गांव-गांव में किसानों और किसान नेताओं की जासूसी के लिए लगा दिया है. उन्होंने कहा कि सक्रिय विपक्षी राजनीतिक कार्यकर्ताओं और किसान संगठनों के नेताओं को शांतिभंग यहां तक कि गुण्डा एक्ट के अंतर्गत नोटिसें भेजी रही है. सोशल मीडिया पर सरकार का विरोध करने के कारण दर्जनों एफआईआर दर्ज की जा रही हैं. पूरे प्रदेश में जंगलराज कायम है.
बदायूं की घटना सरकार के माथे पर कलंक
बदायूं की घटना जिसमें मंदिर में पुजारी और उसके साथियों ने महिला के साथ बलात्कार करने के बाद बर्बर तरीके से उसकी हत्या की गई. सरकार के माथे पर बदनुमा कलंक है. महिलाओं के साथ इसी तरह की बलात्कार की घटनायें और दलितों के उत्पीड़न की घटनायें लगातार प्रदेश में हो रही हैं. गाजियाबाद के मुरादनगर में श्मशान की छत गिरने से 25 लोगों की मृत्यु की घटना
ने सरकार के भ्रष्टाचार को उजागर कर दिया है.