लखनऊ: बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने पंचायत चुनाव को लेकर प्रदेश के वरिष्ठ नेताओं व जिला व मंडल कोऑर्डिनेटर के साथ बैठक की. उन्होंने केंद्र और राज्य सरकार की जनविरोधी नीतियों को लेकर पार्टी कार्यकर्ताओं और नेताओं से आवाज उठाने की अपील की. उन्होंने कहा कि छोटी-छोटी बैठक व गोष्ठी करके केंद्र व राज्य सरकार की नीतियों को लेकर आवाज उठाएं और जनता से जुड़ने का काम करें. इसके साथ ही उन्होंने 15 मार्च को होने वाली कांशीराम जयंती को प्रदेश भर में मनाने को लेकर भी दिशा-निर्देश दिए हैं.
सभी जिलों की मायावती ने ली रिपोर्ट
बैठक में यूपी के सभी 18 मण्डल व 75 जिलों के पार्टी के छोटे-बड़े पदाधिकारियों ने अपनी-अपनी कमेटी की गतिविधियों के संबंध में विस्तार से रिपोर्ट पार्टी सुप्रीमो मायावती के सामने पेश की, जिसको मद्देनजर रखते हुए गहन समीक्षा व विचार-विमर्श के उपरांत और आने वाले समय की राजनीतिक व चुनावी चैलेंज का डटकर मुकाबला करने के लिए पार्टी संगठन में मण्डल व जिला स्तर पर जरूरी परिवर्तन व फेरबदल मायावती ने किया, जिसके बाद सभी जिम्मेदार लोग पूरी मुस्तैदी के साथ अपने-अपने काम में लग गए हैं.
कांशीराम जयंती मनाने के निर्देश
राजधानी लखनऊ में लगभग एक माह से अधिक समय तक लगातार चलने वाली इन समीक्षा बैठकों में बीएसपी मूवमेंट के जन्मदाता व संस्थापक कांशीराम की दिनांक 15 मार्च को होने वाली जंयती कार्यक्रम को पूर्व की तरह ही यूपी के कुछ मण्डल को छोड़कर अधिकांश मण्डलों में संगोष्ठी आदि के माध्यम से मनाने का निर्देश दिया गया, जिसमें से केवल लखनऊ, कानपुर व फैजाबाद मण्डल के लोग, लखनऊ में स्थित कांशीराम स्मारक स्थल में और मेरठ मण्डल के लोग नोएडा में स्थित दलित प्रेरणा स्थल में पहुंचकर, उनको अपनी श्रद्धा अर्पित करेंगे.