उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

नाम के साथ खिलवाड़ पर भड़कीं बसपा सुप्रीमो मायावती, टीवी चैनल को दी जातिवादी मानसिकता से बचने की हिदायत - लोकसभा चुनाव 2024

बसपा सुप्रीमो मायावती ने एक टीवी चैनल पर प्रसारित विशेष कार्यक्रम के दौरान अपने नाम के साथ छेड़छाड़ करने को लेकर कड़ी आपत्ति जाहिर की है. मायावती ने न्यूज चैनल को जातिवादी मानसिकता से बचने की सलाह दी है. वहीं समर्थक कथित न्यूज चैनल पर कार्रवाई की मांग कर रहे हैं.

Etv Bharat
Etv Bharat

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Aug 29, 2023, 10:10 PM IST

लखनऊ : देश में लोकसभा चुनाव का काउंटडाउन शुरू हो गया है. ऐसे में विभिन्न दलों के नेता चुनावी बिसात बिछाने में जुट गए हैं. न्यूज चैनल पर चुनाव को लेकर भी तमाम तरह के कार्यक्रम शुरू किए गए हैं. एक चैनल ने बसपा सुप्रीमो मायावती पर एक व्यक्ति विशेष कार्यक्रम प्रसारित किया. आरोप है कि इस चैनल पर बसपा सुप्रीमो मायावती को चंद्रावती कहा गया, जिस पर बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने जोरदार आपत्ति दर्ज कराई है. उन्होंने संबंधित चैनल को सख्त हिदायत दी है. मायावती ने इस संबंध में ट्वीट किया है जिसके बाद लगातार बसपा सुप्रीमो के फॉलोअर संबंधित न्यूज़ चैनल पर कार्रवाई की मांग कर रहे हैं.

बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने ट्वीट किया कि मीडिया में जातिवादी मानसिकता वाले एक वर्ग की तरफ से ’व्यक्ति विशेष’ कार्यक्रम में कमजोर व उपेक्षित वर्गों को उनका संवैधानिक हक दिलाकर उन्हें आत्म-सम्मान व स्वाभिमान का जीवन दिलाने के लिए अपना पूरा जीवन समर्पित करने वाली बीएसपी प्रमुख के नाम के साथ खिलवाड़ अनुचित व गैर जिम्मेदाराना है. ऐसे मीडिया वर्ग किसी की अंधी नकल करने के बजाय खुद की पड़ताल/सम्पर्क के बाद ही जीवन परिचय लिखें, क्योंकि इनको जन्म से लेकर अब तक मायावती और सम्मान से सभी छोटे-बड़े बहनजी कहकर ही सम्बोधित करते हैं. यानी चन्द्रावती व अन्य किसी और नाम से नहीं. इसलिए गलत नाम प्रचारित करना निन्दनीय है. मीडिया से अनुरोध है कि किसी भी विशेष व्यक्तित्व के बारे में कोई जानकारी देने से पहले, सही तथ्यों की जानकारी जरूर प्राप्त कर लें, वरना गलत सूचना देने से मीडिया से लोगों का विश्वास ही उठ जाएगा. खासकर दलित समाज के मामले में जातिवादी मीडिया अपनी सोच जरूर सुधार ले तो बेहतर होगा.

लोकसभा चुनाव मायावती ने अकेले लड़ने का एलान किया है इसे लेकर सियासी गलियारों में चर्चा तेज हैं. जहां मायावती के इस कदम को बीएसपी से जुड़े लोग और दलित समुदाय से आने वाले मतदाता सही कदम बता रहे हैं वहीं राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं कि बसपा सुप्रीमो को गठबंधन का हिस्सा होना चाहिए, नहीं तो उन्हें लोकसभा चुनाव में कोई लाभ मिलता नजर नहीं आ रहा है. पिछले लोकसभा चुनाव में जब मायावती ने अखिलेश यादव से गठबंधन कर चुनाव लड़ा था तभी 10 सीटें जीत पाई थीं. जब विधानसभा चुनाव 2022 में अकेले लड़ा तो सिर्फ एक सीट जीतने में सफल हो पाईं.



यह भी पढ़ें : Union Cabinet : केंद्रीय मंत्रिमंडल ने चंद्रयान-3 मिशन की सफलता पर प्रस्ताव पारित किया, उभरते नए भारत का प्रतीक बताया

ABOUT THE AUTHOR

...view details