लखनऊ. बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने बुधवार को हिमाचल प्रदेश, जम्मू कश्मीर व पंजाब स्टेट पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारियों के साथ अहम बैठक की. इस दौरान उन राज्यों के ताजा राजनीतिक हालात, जातिवादी व साम्प्रदायिक माहौल, चुनावी तैयारियों और पार्टी संगठन के जमीनी कार्यकलापों, जनाधार को बढ़ाने के लिए गहन समीक्षा की.
मायावती ने राजस्थान, हिमाचल प्रदेश व जम्मू-कश्मीर के आगामी विधानसभा चुनाव के लिए विश्वासघाती व बिकाऊ सोच के लोगों को प्रश्रय न देकर ज्यादातर मिशनरी आधार पर ही पार्टी संगठन एवं प्रत्याशी आदि भी तैयार करने की सख्त नसीहत दी. जहां तक हिमाचल प्रदेश और जम्मू-कश्मीर में आगामी विधानसभा आम चुनाव का मामला है. दोनों ही राज्यों में बीएसपी को अपनी पूरी तैयारी करनी है और फिर समय पर चुनाव मैदान में उतरना है. पार्टी के कैडरों व समर्थकों की उम्मीदों पर खरा उतरने का पूरा प्रयास करना है.
पंजाब प्रदेश में आम आदमी पार्टी की नई सरकार के रिमोट कंट्रोल से चलने के चर्चित आरोपों का संज्ञान लेते हुए मायावती ने कहा कि पार्टी के लोगों को अपना संघर्ष पहले की तरह ही लगातार जारी रखना है. चुनाव की जीत-हार से बहुत विचलित हुए बिना अपने मिशनरी कार्य में डटे रहना है.
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यूपी के वर्तमान हालात का उल्लेख करते हुए मायावती ने कहा कि बात-बात पर एनएसए जैसी गंभीर धाराओं में लोगों की गिरफ्तारी व परिवारों का उत्पीड़न दमन का नया सरकारी फैशन बन गया है. जिससे अपराध-नियंत्रण व कानून-व्यवस्था के मामले में अपनी विफलताओं पर पर्दा डाला जा सके, यह घोर अनुचित है. साथ ही मामूली बात पर व गैर-जरूरी होने के बावजूद लोगों की गिरफ्तारी कर लिए जाने की गलत सरकारी नीतियों से पूरे प्रदेश में भय व आतंक का माहौल है. जबकि सत्ताधारी पार्टी से अपने आपको जोड़ने वाले आपराधिक तत्व बेखौफ घूम रहे हैं, तो ऐसे में अपराध नियंत्रण व कानून का राज कैसे संभव है? कानून का खौफ सभी अपराधियों में जरूर होना चाहिए.