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उपचुनाव में भाजपा ने झोंकी ताकत, इन दो सीटों पर जीत होगी बड़ी चुनौती

उत्तर प्रदेश की 11 विधानसभा सीटों पर आगामी 21 अक्टूबर को मतदान होना है. इसको लेकर भाजपा ने पूरी ताकत के साथ चुनावी मैदान में है. लेकिन भाजपा को इन दो सीटों पर कमल खिलाना किसी चुनौती से कम नहीं है.

भाजपा प्रदेश प्रवक्ता हरिश्चन्द्र श्रीवास्तव.

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Published : Oct 13, 2019, 1:41 AM IST

लखनऊ: उत्तर प्रदेश की 11 विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने अपनी पूरी ताकत झोंक दी है. सरकार से लेकर संगठन तक उपचुनाव जीतने में पूरी जी जान से जुटे हुए हैं. खास बात यह है कि 11 में से 2 सीटें जीतना भारतीय जनता पार्टी के लिए बड़ी चुनौती बन रही है और इन 2 सीटों में रामपुर और जलालपुर सीट पर अभी सपा और बसपा का कब्जा है. ऐसे में सपा बसपा के कब्जे से इन सीटों पर कमल खिलाना बीजेपी के लिए किसी बड़ी चुनौती से कम नहीं है.

उपचुनाव में भाजपा ने झोंकी ताकत.

आसान नहीं बीजेपी की राह
उत्तर प्रदेश की 11 सीटों पर हो रहे उपचुनाव में भारतीय जनता पार्टी का 9 सीटों पर कब्जा है. प्रदेश में योगी सरकार और बीजेपी संगठन उपचुनाव जीतने को लेकर कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है. लेकिन खास बात यह है कि रामपुर और जलालपुर सीट पर कमल खिलाना बीजेपी नेतृत्व के लिए आसान नहीं नजर आ रहा है.

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इन सीटों पर हैं बसपा और सपा का कब्जा
आपको बताते चलें कि इन सीटों में से एक पर सपा का कब्जा है, वहीं दूसरी सीट पर बसपा का कब्जा है. रामपुर की सीट समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान की सीट रही है. लेकिन प्रदेश में योगी सरकार बनने के बाद से आजम खान को लेकर बीजेपी की तरफ से कई मुकदमे दर्ज कराए गए हैं.

जमीन कब्जाने और अन्य मामलों को लेकर वैसे में रामपुर में आजम खान के प्रति सहानुभूति भी नजर आ रही है. ऐसे में बीजेपी की जीत किसी बड़ी चुनौती से कम नहीं है. रामपुर सीट पर आजम खान विधायक चुने गए थे और 2019 के लोकसभा चुनाव में वह संसद सदस्य निर्वाचित हुए. उपचुनाव हो रहा है तो भारतीय जनता पार्टी को यह सीट जीतना किसी चुनौती से कम नहीं लग रहा.

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बसपा के कब्जे में है जलालपुर विधानसभा सीट
दूसरी ओर अंबेडकर नगर जिले की जलालपुर विधानसभा सीट अभी तक बसपा के कब्जे में है. 2017 के विधानसभा चुनाव में बसपा के टिकट पर रितेश पांडे निर्वाचित हुए थे. जब 2019 का चुनाव लोकसभा का हुआ तो रितेश पांडे लोकसभा सदस्य निर्वाचित हुए.

उपचुनाव के नतीजे देंगे योगी सरकार को सियासी संदेश
ऐसे में इस सीट पर भी हो रहे उपचुनाव में कमल खिलाना बीजेपी के लिए बड़ी चुनौती बनी हुई है. अब देखने वाली बात यह होगी कि 11 सीटों पर हो रहे उपचुनाव में भारतीय जनता पार्टी कितनी सीटें कब्जाने में सफल रहती है. लेकिन ये आंदाजा लगाया जा रहा है कि चुनाव परिणाम निश्चित रूप से योगी आदित्यनाथ सरकार के कामकाज को लेकर नए सियासी संदेश देने वाले होंगे. उत्तर प्रदेश में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह के नेतृत्व में उप चुनाव हो रहे हैं. ऐसे में संगठन किस प्रकार से काम कर रहा है वह भी एक महत्वपूर्ण सवाल बना हुआ है.

भाजपा प्रदेश प्रवक्ता बोले जनता बीजेपी के साथ है
इस पर भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता हरिश्चन्द्र श्रीवास्तव का कहना है कि भारतीय जनता पार्टी के लिए सभी चुनाव चुनौती की तरह होते हैं. हम सभी चुनाव को चुनौती के रूप में लेते हैं. लेकिन जिस प्रकार से नरेंद्र मोदी सरकार व योगी आदिनाथ सरकार ने जन कल्याणकारी नीतियां चलाई हैं, उसको लेकर हम सभी सीटें जीतने को लेकर आश्वस्त हैं. रामपुर और जलालपुर सहित सभी अन्य सीटों पर कमल खिलेगा और जनता बीजेपी का साथ देगी.

11 सीटों पर हो रहे उपचुनाव में 21 अक्टूबर को मतदान होगा. भारतीय जनता पार्टी सभी सीटों पर हो रहे उपचुनाव को लेकर अपनी पूरी ताकत झोंक दी है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से लेकर उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, डॉ दिनेश शर्मा, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह, प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल सहित सभी बीजेपी के बड़े नेता चुनावी क्षेत्रों में दौरा करके अपने कार्यक्रम कर रहे हैं.

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