लखनऊ: अयोध्या के बाबरी विध्वंस मामले में पूर्व प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी सहित 32 आरोपियों को बरी करने वाले सीबीआई की विशेष अदालत के पूर्व जज सुरेंद्र यादव को उप लोकायुक्त बनाया गया है. आरोपियों को बरी करने वाले पूर्व जज को लोकायुक्त संगठन में महत्वपूर्ण जिम्मेदारी मिलने को लेकर विपक्ष ने सवाल उठाते हुए भाजपा सरकार पर निशाना साधा है. वहीं भाजपा ने विपक्ष द्वारा उठाए गए सवालों को खारिज करते हुए कहा कि न्यायपालिका के कामकाज पर सवाल उठाने का हक किसी को नहीं है. जज रहे सुरेंद्र यादव को उनकी मेरिट के आधार पर लोकायुक्त संगठन में उपलोकायुक्त बनाया गया है. विपक्ष बेबुनियाद आरोप लगा रहा है.
सुरेंद्र यादव की नियुक्ति पर विपक्ष सवाल खड़े कर रही है संबंधित खबरें- आडवाणी सहित 32 आरोपियों को किया था बरी, अब बने उप लोकायुक्त
'योग्यता के आधार पर मिली जिम्मेदारी'
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता नवीन श्रीवास्तव ने कहा कि सेवानिवृत्त होने वाले तमाम अधिकारी और जस्टिस को तमाम पदों पर राज्य सरकार हों या केंद्र सरकार संवैधानिक दायित्व देती रही हैं. उत्तर प्रदेश में जस्टिस सुरेंद्र यादव को उपलोकायुक्त बनाया गया है और उन्हें उनकी योग्यता के आधार पर यह जिम्मेदारी दी गई है. विपक्ष बेबुनियाद आरोप लगा रहा है. इससे पहले भी कांग्रेस की सरकारों ने कई जस्टिस को महत्वपूर्ण जिम्मेदारी दी है. उन्हें इसका भी जवाब देना चाहिए. विपक्ष जिस प्रकार से राजनीतिक आधार पर नियुक्त किए जाने को लेकर प्रश्नचिन्ह खड़ा कर रहा है. उनमें कोई दम नहीं है. जस्टिस सुरेंद्र यादव को उनकी योग्यता के आधार पर उपलोकायुक्त बनाया गया है.