लखनऊः गंभीर और अनियंत्रित अस्थमा के रोगियों को कोरोना से सबसे ज्यादा खतरा है. यह बात इंडियन कॉलेज ऑफ एलर्जी अस्थमा एंड एप्लाइड इम्यूनोलॉजी के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं केजीएमयू के रेस्पिरेट्री मेडिसिन विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. सूर्यकांत ने शनिवार को एक वेबिनार के दौरान कहा.
एलर्जी पर आयोजित हुई राष्ट्रीय वर्चुअल संगोष्ठी
अस्थमा एंड क्लिनिकल इम्यूनोलॉजी के तहत एलर्जी सप्ताह के अंतर्गत केजीएमयू में राष्ट्रीय वर्चुअल संगोष्ठी का आयोजन किया गया. इस दौरान डॉ सूर्यकांत ने कहा कि कोविड के खतरे को देखते हुए अस्थमा रोगियों को कोरोना काल के दौरान एलर्जी टेस्टिंग पलमोनरी फंक्शन टेस्ट एलर्जी इम्यूनोथेरेपी नहीं करानी चाहिए. इससे कोरोना संक्रमित होने का खतरा बढ़ जाता है. उन्होंने अस्थमा रोगियों को चिकित्सकों से निरंतर परामर्श लेते रहने की सलाह दी. उन्होंने कहा कि गंभीर अस्थमा के रोगियों को ओमलिजूमैब और अन्य बायो लॉजिकल इंजेक्शन लगाए जाते हैं. कोरोना के दौरान इन इंजेक्शनों को नहीं लगवाना चाहिए.