उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

अनुच्छेद 370 और तीन तलाक पर विद्यालयों में हो डिबेट: योगी आदित्यनाथ - article 370 and teen talaq be debated in school

शिक्षक दिवस के मौके पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शिक्षकों को सम्मानित किया. इस दौरान योगी आदित्यनाथ ने कहा कि शिक्षकों को लेखन की दिशा में पहल करनी चाहिए. कुछ न कुछ लिखना चाहिए. आज जो आप लिखेंगे भविष्य में वह बहुत से लोगों को बेहतर मार्गदर्शन देगा.

शिक्षक दिवस पर बोलते सीएम योगी.

By

Published : Sep 5, 2019, 3:12 PM IST

लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शिक्षक दिवस के अवसर पर सम्मानित किए गए शिक्षकों को शुभकामनाएं दी और डॉ. सर्व पल्ली राधाकृष्णन को श्रद्धांजलि अर्पित की. सीएम योगी ने कहा कि वास्तव में हम सबका जीवन हर क्षण कुछ न कुछ सीखने का है. आवश्यकता है कि हम अपने जीवन मे इसे किस प्रकार से जोड़ते हैं.

शिक्षक दिवस पर बोलते सीएम योगी

मुख्यमंत्री की पाठशाला-

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि शिक्षण संस्थाओं को जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 समाप्त किये जाने और तीन तलाक बिल पर बच्चों के बीच डिबेट करनी चाहिए. इसके बारे में बच्चों के साथ आम जन को भी जानना चाहिए. पीएम मोदी ने स्वच्छ्ता को लेकर अभियान चलाया. स्वच्छ भारत मिशन से केवल सरकारी कर्मचारी जुड़ें यह ठीक नहीं, हम सबको जुड़ना चाहिए. यह भी डिबेट का हिस्सा हो सकता है. हमें सोचना होगा कि यह केवल पीएम मोदी का अभियान नहीं होना चाहिए, सम्पूर्ण भारत का अभियान बनना चाहिए.

ये भी पढ़ें:- डीजीपी ओपी सिंह नहीं लेंगे इलाहाबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी की मानद उपाधि

शिक्षकों को लेखन की दिशा में करनी चाहिए पहल-

सीएम योगी ने कहा कि शिक्षकों को लेखन की दिशा में पहल करनी चाहिए. कुछ न कुछ लिखना चाहिए. आज जो आप लिखेंगे, भविष्य में वह बहुत से लोगों को बेहतर मार्गदर्शन कर सकेंगे. पाठ्यक्रम को सरल बनाने, समाज मे फैली कुरितियों या फिर देश के बारे अन्य चीजों पर लिखना चाहिए. यह चीजें पहले होती थीं लेकिन आज शिक्षकों ने लिखना छोड़ दिया है. वह चाहे बहुत व्यस्त हो गए हैं. शिक्षकों के पास शिक्षण कार्य के अलावा अन्य क्षेत्रों में ज्यादा समय देना होता था. देश के अंदर घटित घटनाओं के बारे में बच्चों को बताना चाहिए.

अनुच्छेद 370 पर बोले मुख्यमंत्री-

हमे सोचना चाहिए कि कश्मीर में अनुच्छेद 370 हटाया गया. सरदार पटेल इसे क्यों नहीं स्वीकार कर पा रहे थे. श्यामाप्रसाद मुखर्जी ने इसके लिए अनशन किया और बलिदान दिया. पीएम मोदी और गृहमंत्री ने इसे हटाने का काम किया. इस पर बच्चों के बीच प्रतियोगिता कराई जानी चाहिए. बच्चों के बीच का मत बनता उसके आधार पर पीएम मोदी को एक पत्र भेजना चाहिए. उन्हें खुशी होती कि देश के बच्चे इस कदम के बारे में क्या सोचते हैं. तीन तलाक पर भी व्यापक डिबेट होनी चाहिए थी. शिक्षण संस्थाओं में इस पर परिचर्चा होती तो एक सन्देश जाता.

ABOUT THE AUTHOR

...view details