लखनऊ : इन दिनों गर्मी चरम पर है. आम जनमानस का जीना मुहाल है. इस बीच बिजली की मांग में जबरदस्त इजाफा होने लगा है. बिजली विभाग के 24 घंटे बिजली आपूर्ति के दावों के बीच अब शहर से लेकर ग्रामीण इलाकों में जबरदस्त बिजली कटौती शुरू हो गई है. लोड बढ़ने से ट्रांसफार्मर जलने शुरू हो गए हैं. जर्जर लाइनें दगा देने लगीं हैं. शहर में तो फिर भी हालात कुछ ठीक हैं लेकिन लखनऊ के ही आसपास के ग्रामीण इलाकों में विद्युत आपूर्ति पूरी तरह चौपट दिखाई देती है.
दरअसल, इन इलाकों में कई उपकेंद्रों और लाइनों का काम अधूरा पड़ा है. ऐसे में इन अधूरे पड़े कामों के बीच भरपूर बिजली सप्लाई हो सके, ये संभव नहीं लगता. लखनऊ से सटे इलाके मोहनलालगंज के पूरनपुर सब स्टेशन में दो ट्रांसफार्मर पांच एमबीए के रखे गए थे लेकिन एक ट्रांसफार्मर महीनों से खराब पड़ा है. जब यहां की बिजली व्यवस्था पूरी तरह चौपट होने लगी, तब अधिकारियों को इस ट्रांसफार्मर को बदलने की याद आई.
अब विभाग की तरफ से नया ट्रांसफार्मर रखवाया जा रहा है. इसी सब स्टेशन के लिए खुजेहटा ट्रांसमिशन सब स्टेशन से खींची जा रही 33 केवी लाइन का भी काम लंबे समय से अधूरा पड़ा है. ऐसे में अगर वृंदावन से आई 33 केवी लाइन में खराबी आती है तो उपभोक्ताओं के सामने बड़ा बिजली संकट झेलने के अलावा कोई विकल्प मौजूद नहीं है. इस सब स्टेशन में जीआई वायर और लंबे स्पेन की लाइनों की भरमार है.
इसी तरह मोहनलालगंज उपकेंद्र की बात की जाए तो इस पुराने सब स्टेशन की 30 किलोमीटर लंबी लाइन ही उपभोक्ताओं के लिए निर्बाध आपूर्ति में सबसे बड़ा संकट खड़ा कर रही हैं. लंबी दूरी की लाइन में अक्सर फाल्ट आ जाता है और बिजली आपूर्ति ध्वस्त हो जाती है. इसके समाधान के लिए सिसेंडी में 33/11 केवी सब स्टेशन निर्माण की आवश्यकता है. कार्रवाई के नाम पर अब तक जमीन की तलाश तक पूरी नहीं की जा सकी है. इससे मोहनलालगंज सब स्टेशन पर लोड लगातार बढ़ रहा है. यहां पर भी ट्रांसफार्मर की कैपेसिटी बढ़ाने की आवश्यकता है.