लखीमपुर खीरी: यूपी के तराई के जिलों में बनबसा बैराज से पानी छोड़े जाने से आई भीषण बाढ़ में अब हजारों नेपाली नागरिकों का रास्ता बाढ़ ने रोक दिया है. हजारों की तादाद में बच्चे महिलाएं यूपी के लखीमपुर खीरी जिले में फंसे हुए हैं. तीन दिनों से फंसे हुए हैं. पलिया होकर नेपाल जाने वाला गौरीफंटा बॉर्डर बन्द हो गया है. इधर बनबसा बार्डर भी खुला नहीं. इससे हजारों नेपाली नागरिक अब खीरी जिले में फंस गए हैं.
खीरी जिले के भीरा कस्बे के गुरुद्वारे में नेपाली नागरिकों को स्थानीय किसानों और सेवादारों ने आश्रय दिया है. बाढ़ में प्रसाशनिक व्यवस्थाएं तो तार-तार होती दिख रहीं हैं, पर खीरी जिले में सिख किसान इन नेपाली मेहमानों का कैसे ध्यान रख रहे हैं. जानने के लिए पढ़िए ईटीवी भारत की रिपोर्ट....
बनबसा बैराज से साढ़े 500000 क्यूसेक पानी छोड़े जाने से खेड़ी में बाढ़ की हालत भीषण हो गई है. तमाम रास्ते कट गए हैं. रेल ट्रैक कट गया है. ऐसे में नेपाल जाने वाले सभी रास्ते बंद हो गए हैं. दीपावली के त्योहार पर नेपाल राष्ट्र के रहने वाले हजारों कामगार जो भारत के अलग-अलग महानगरों में काम करते हैं. इस वक्त अपने घर नेपाल जा रहे थे, पर नेपाल और भारत के बीच खीरी जिले में पलिया तहसील का रास्ता पूरी तरीके से कट गया है. NH-731 क्षतिग्रस्त हो गया है. रेल ट्रैक भी ध्वस्त हो गया है. ऐसे में नेपाली हजारों नागरिक अब भीरा लखीमपुर इलाके में फंसे हुए हैं.