लखीमपुर खीरीः कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी का शनिवार को जिले का दौरा सियासी रूप से हिट रहा. जिले के पसगवां ब्लॉक में सपा महिला प्रत्याशी के साथ हुई अभद्रता के मुद्दे को भी प्रियंका गांधी ने कैश करने में कोई संकोच नहीं किया. समाजवादी पार्टी नेता के घर न सिर्फ प्रियंका गांधी आईं बल्कि पीड़ित महिलाओं के जख्मों पर संवेदना का मरहम लगाया. महिलाओं से मिलकर उन्हें आश्वासन दिया कि महिलाओं के सम्मान की लड़ाई यूपी में ही नहीं पूरे देश में कांग्रेस लड़ेगी.
प्रियंका गांधी पहुंची लखीमपुर खीरी. प्रियंका गांधी ने एक तीर से दो निशाने लगाए हैं. एक तो महिलाओं के सम्मान पर यूपी में बड़ा आंदोलन खड़ा करने का इशारा किया तो दूसरा योगी सरकार को कानून व्यवस्था के मुद्दे पर भी चित्त करने का नया सियासी दांव भी खेला. बिना किसी प्रोटोकॉल के अचानक प्रियंका का खीरी के सेमराघट उन दो पीड़ित महिलाओं से मिलने आने का कार्यक्रम भी कांग्रेस की सोंची समझी रणनीति का हिस्सा रहा. इसे भी पढ़ें-चुनाव जीतने के लिए आज से ही 24 घंटे काम करें कार्यकर्ताः प्रियंका गांधी
यहां मीडिया से बातचीत करते हुए प्रियंका गांधी ने यूपी सरकार को कानून व्यवस्था पर आड़े हाथों लिया, वहीं महिला सम्मान और महिला सशक्तिकरण की बातें भी यूपी सरकार को याद दिलाया. प्रियंका गांधी ने कहा कि क्या यूपी में लोकतंत्र की ऐसे ही धज्जियां उड़ाई जाती रहेंगी. हर जिले में ब्लॉक प्रमुख चुनाव में बम चले हैं, कट्टे चले हैं गोलियां चली हैं और मारपीट हुई है. नामांकन दाखिल करने गई महिलाओं से अभद्रता हुई है. क्या यही लोकतंत्र है, क्या संविधान ने महिलाओं को इसीलिए आरक्षण दिया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी लपेटे में लेते हुए प्रियंका गांधी ने कटाक्ष किया. कहा, यूपी में इतनी हिंसा वाले चुनाव पर भी प्रधानमंत्री पंचायत चुनाव की तारीफ करते हैं. प्रियंका गांधी ने कहा कि वीडियो में साफ-साफ साफ दिख रहा है कि किस तरह महिलाओं के साथ अभद्रता की गई. उन्होंने कहा कि पसगवां के साथ-साथ यूपी में जहां भी हिंसा हुई है, वहां दोबारा चुनाव होना चाहिए. उन्होंने कहा कि कितना भी कोई हाई प्रोफाइल क्यों न हो, जो वीडियो में दिख रहें हैं उनकी गिरफ्तारी होनी चाहिए. प्रशासन को ऐसे खामोश नहीं रहना चाहिए.
सिमरा घाट में समाजवादी पार्टी के नेता क्रांति कुमार सिंह के जिस घर में प्रियंका गांधी पहुंची, वहां पर पहले पुलिस प्रशासन और कांग्रेसियों ने मिलकर बढ़िया लद्दाख लाल कालीन स्वागत में बिछाई थी.लेकिन जब एआईसीसी के सेक्रेटरी धीरज गुर्जर, प्रदेश अध्यक्ष लल्लू और नेता प्रतिपक्ष आराधना मिश्रा पहुंचीं तो कालीन और सोफे हटवा दिए गए. दरसल प्रियंका गांधी को रेट कार्पेट स्वागत पसन्द नहीं है, शायद इसीलिए आनन-फानन में घर के दालान में सादगी भरा माहौल कर दिया गया.