पति ने किराए के हत्यारे और भांजे से कराई थी पत्नी की हत्या
कुशीनगर में 26 अप्रैल की हुई महिला की हत्या का खुलासा करते हुए पुलिस ने तीनों हत्यारों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. इस मामले में पुलिस ने क्या खुलासा किया चलिए जानते हैं.
कुशीनगर: तमकुहीराज थानाक्षेत्र में 26 अप्रैल की रात एक महिला की हुई हत्या का पुलिस ने खुलासा किया है. पुलिस के अनुसार पति के इशारे पर किराए के हत्यारे ने उसके भांजे के साथ मिल कर महिला की हत्या की थी. आरोपियों के पास से हत्या के बाद गायब मृतका का मोबाइल भी बरामद हो चुका है. पुलिस ने पति सहित तीनों हत्यारों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है.
बीते 26 अप्रैल की रात में तमकुहीराज कस्बा स्थित जामा मस्जिद के पास रहने वाली लक्ष्मी देवी पत्नी दयाशंकर की मौत हो गई थी. मामले में पुलिस अज्ञात के खिलाफ हत्या का मुकदमा पंजीकृत कर जांच पड़ताल कर रही थी. हत्या की सूचना पर पुलिस अधीक्षक, अपर पुलिस अधीक्षक कुशीनगर सहित डाग स्क्वायड, सर्विलांस, स्वाट सहित सभी सपोर्टिंग स्टाफ पंहुचे थे. पुलिस की जांच एवं इलेक्ट्रानिक साक्ष्यों के आधार पर पता चला कि उसका पति ने ही रामकोला थानाक्षेत्र के बरवा महादेवा निवासी महेद्र बैठा को तीस हजार रूपए का लालच देकर अपनी पत्नी की हत्या कराई थी. इस हत्या में दयाशंकर का भांजा राकेश भी जमीन के लालच में शामिल था. शनिवार को पुलिस ने तीनों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. मृतिका लक्ष्मीदेवी के तीन बच्चो में बड़ी बेटी दिव्या 8 वर्ष की है.जिसने बताया कि दादी अक्सर मम्मी को बुरा-भला कहा करती थी. वह पिता दयाशंकर की चौथी शादी कराने की बात कहा करती थी.
क्षेत्राधिकारी कार्यालय तमकुहीराज पर आयोजित पत्रकार वार्ता में सीओ जितेंद्र सिंह कालरा ने बताया कि मृतका लक्ष्मी देवी दयाशंकर की तीसरी पत्नी थी. पति पत्नी में अक्सर तकरार होती रहती थी. जिससे आहत होकर वह दो वर्ष पूर्व मुम्बई चला गया था. इसी दौरान लक्ष्मी देवी का दयाशंकर के सगे भांजे राकेश के साथ अवैध संबंध बन गए. जिसकी जानकारी होने पर वह आगबबूला हो गया. दयाशंकर ने अपने जान पहचान वाले रामकोला थानाक्षेत्र के बरबा महदेवा निवासी महेद्र को तीस हजार रुपए का लालच देकर लक्ष्मी देवी की हत्या करने के लिए तैयार किया. उसके मदद के लिए तमकुहीराज में बहुत बड़ी कीमत की पांच कट्ठा जमीन अपने भांजे के नाम कर, उसकी बढ़िया जगह पर शादी कराने का लालच देकर तैयार कर लिया. हत्या के पांच दिन पहले दयाशंकर अपना मोबाइल बंद कर नए सिम से बात करने लगा. पुलिस ने जब उसके मोबाइल के ईएमआई की जांच किया, तो नए सिम द्वारा किए गए हर बातचीत का पता चल गया. जिससे इस हत्या का खुलासा हो सका.
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