कानपुर:शहर में शुक्रवार देर शाम अचानक उस समय हड़कंप की स्थिति हो गई, जब यह बात सामने आयी कि आयकर विभाग की टीडीएस शाखा के अफसरों ने महाराणा प्रताप ग्रुप (Maharana Pratap Group) के एक संस्थान में सर्वे का काम शुरू कर दिया है. देर शाम आयकर विभाग के अफसरों की टीडीएस शाखा का काफिला, मंधना स्थित ग्रुप के एक संस्थान में पहुंचा. आनन-फानन ही संस्थान के सभी खातों संबंधी दस्तावेजों को खंगाला गया.
अफसरों को मौके पर ही करीब 10 करोड़ रुपये की हेराफरी (Irregularities found in TDS survey) मिली. इस संबंध में अफसरों ने सारे दस्तावेज अपने पास रख लिए. साक्ष्यों के आधार पर जल्द कार्रवाई की बात कही. अफसरों की टीम संस्थान में कई घंटों तक संस्थान में रही और सारे नए और पुराने खातों की जांच की. अफसरों का कहना था कि हेराफेरी करने के लिए संस्थान के जिम्मेदारों ने कई पुराने खातों को बंद करके नए खाते खुलवाए.
इसकी जानकारी मिलने के बाद ही सर्वे के तौर पर टीम के सदस्य पहुंचे और जांच की. महाराणा प्रताप ग्रुप के एक संस्थान में आयकर अफसरों के सर्वे को लेकर शहर मेें छापे की अफवाह भी उड़ी. सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफार्म पर यह जानकारी वायरल होती रही. हालांकि, आयकर अफसरों का कहना था कि उन्होंने सर्वे का काम किया है.
बुलियन कारोबारी और बिल्डर के ठिकानों हुई थी रेड:शहर में आयकर विभाग की ओर से आए दिन ही छापेमारी होती रहती है. कुछ दिनों पहले ही आयकर अफसरों (जांच शाखा) ने एक बुलियन कारोबारी व नामचीन बिल्डर के कई ठिकानों पर छापेमारी की थी. बुलियन कारोबारी के सिविल लाइंस स्थित घर से तो अफसरों को सोने की सात ऐसी ईंटें मिली थीं, जिनकी कीमत 10 करोड़ रुपये से अधिक थी. वहीं, अफसरों को कई सौ करोड़ रुपये की बोगस खरीदारी का भी लेनदेन मिला था. उस मामले में आयकर अफसरों की ओर से कार्रवाई जारी है.
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