उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

IIT कानपुर में सौर और पवन ऊर्जा को लेकर अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन - आईआईटी कानपुर में अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन किया गया

यूपी के कानपुर में आईआईटी सौर और पवन ऊर्जा को लेकर अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन किया गया. इसमें कोयले और तेल की बजाय भविष्य में हवा, बायोफ्यूल और सौर ऊर्जा से विद्युत उत्पादन किए जाने पर चर्चा की गई.

सौर और वायु ऊर्जा को लेकर हुआ अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन

By

Published : Nov 14, 2019, 10:20 AM IST

कानपुर: आईआईटी कानपुर में सौर और वायु उर्जा को लेकर दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन किया गया. यह कार्यशाला क्लाइमेट जस्टिस रिसर्च सेंटर और यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नॉलॉजी सिडनी के के सहयोग से आयोजित हुई. जिसमें भविष्य में सौर और वायु ऊर्जा की जरूरतों और उसके इस्तेमाल पर चर्चा की गई. इस कार्यशाला में बताया गया कि आने वाले समय में सौर और वायु ऊर्जा से बनने वाली बिजली सस्ती होगी. इसका इस्तेमाल आम आदमी अपने घरों में कर सकेगा. इसकी तकनीक आईआईटी में विकसित की जा रही है और इसके सकारात्मक परिणाम सामने आए हैं.

सौर और वायु ऊर्जा को लेकर अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन.

नवीन स्त्रोतों पर हुई चर्चा

आईआईटी कानपुर में मानविकी और सामाजिक विज्ञान विभाग की ओर से ऑस्ट्रेलिया, जर्मनी और भारत में ऊर्जा के संक्रमण काल, समाजिक पारिस्थितिक संबंधों जैसे विषय पर अंतर्राष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन किया गया था. आईआईटी कानपुर में प्राकृतिक नवीन स्त्रोतों से बिजली उत्पादन की चर्चा के लिए आयोजित इस कार्यशाला में देश-विदेश के तमाम विशेषज्ञ एकत्रित हुए. जिसमें कोयले और तेल की बजाय भविष्य में हवा, बायोफ्यूल और सौर ऊर्जा से विद्युत उत्पादन किए जाने पर चर्चा की गई.

नवीन स्रोतों से देश में हो रहा उत्पादन
देश में प्राकृतिक ऊर्जा के नवीन स्रोतों से 2020 तक 175 गीगा वॉट बिजली उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है. कार्यशाला में ऑस्ट्रेलिया के 6 और जर्मनी के तीन विशेषज्ञों ने जानकारियां दीं. विंड पॉवर के जरूरी इंतजाम, प्लांट के लिए जमीन, तेज हवा वाले क्षेत्रों की पहचान और संसाधन जुटाने में आने वाली समस्याओं पर चर्चा की गई.
देश में 2020 तक 175 गीगावॉट क्लीन एनर्जी प्राप्त करने का है लक्ष्य
कार्यशाला में प्रोफेसर प्रदीप स्वर्णकार ने बताया कि देश में 2020 तक 175 गीगावॉट ग्रीन एनर्जी प्राप्त करने का लक्ष्य रखा गया है जबकि वर्तमान में वायु और दूसरे इको फ्रेंडली संसाधनों से 80 गीगा वाट बिजली का उत्पादन किया जा रहा है. पूरा करने के लिए ऐसा करना जरूरी है जिससे आम आदमी इन संसाधनों का भरपूर इस्तेमाल कर सकें. इस बात को ध्यान में रखते हुए आईआईटी के वैज्ञानिकों ने कई नई तकनीकों पर काम किया है जिसके सकारात्मक परिणाम भी सामने आ रहे हैं.

ABOUT THE AUTHOR

...view details