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पूर्व विधायक ने एक हजार बहनों के साथ मनाया अनूठा रक्षाबंधन - झांसी न्यूज

पूर्व विधायक दीप नारायण लंबे समय से सामूहिक विवाह सम्मेलन का आयोजन करते रहे हैं. विवाह सम्मेलन में वे जिस युवती की शादी करवाते हैं, उसे अपनी बहन मान लेते हैं. अब तक वे एक हज़ार से अधिक युवतियों की शादी हर साल होने वाले आयोजनों के माध्यम से करवा चुके हैं, जिनमें हिन्दू व मुस्लिम दोनों ही धर्मों की युवतियां शामिल हैं. हर साल सभी महिलाएं राखी के त्योहार पर एक समारोह में दीप नारायण को राखी बांधती हैं.

पूर्व विधायक ने एक हजार से ज्यादा बहनों से बंधवाई राखी
पूर्व विधायक ने एक हजार से ज्यादा बहनों से बंधवाई राखी

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Published : Aug 25, 2021, 4:57 AM IST

झांसीः जिले के मोठ कस्बे में मंगलवार को अनूठे तरह के रक्षाबंधन पर्व का आयोजन हुआ. यहां गरौठा के पूर्व विधायक दीप नारायण सिंह यादव ने अपनी एक हजार से अधिक मुंहबोली बहनों से साथ राखी का त्योहार मनाया और उनसे राखी बंधवाई. साथ ही उनका हालचाल लिया व सभी बहनों को उपहार देकर विदा किया.

इस दौरान बड़ी संख्या में स्थानीय जन प्रतिनिधि, सामाजिक कार्यकर्ता और हिन्दू व मुस्लिम महिलाएं मौजूद रहीं. पूर्व विधायक ने सभी मुंहबोली बहनों से राखियां बंधवाकर पिछले कई वर्षों से चली आ रही रक्षाबंधन की परंपरा निभाई. इस दौरान सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किये गए.

पूर्व विधायक ने एक हजार से ज्यादा बहनों से बंधवाई राखी
दरअसल पूर्व विधायक दीप नारायण लंबे समय से सामूहिक विवाह सम्मेलन का आयोजन करते रहे हैं. विवाह सम्मेलन में वे जिस युवती की शादी करवाते हैं, उसे अपनी बहन मान लेते हैं. अब तक वे एक हज़ार से अधिक युवतियों की शादी हर साल होने वाले आयोजनों के माध्यम से करवा चुके हैं, जिनमें हिन्दू व मुस्लिम दोनों ही धर्मों की युवतियां शामिल हैं. हर साल रक्षाबंधन के मौके पर पूर्व विधायक एक अनूठे रक्षाबंधन कार्यक्रम का आयोजन करते हैं. वे इस कार्यक्रम में सभी बहनों को आमंत्रित करते हैं, उनसे राखी बंधवाते हैं और फिर उपहार देकर विदा करते हैं.
बहनों से राखी बंधवाते पूर्व विधायक दीप नारायण सिंह
पूर्व विधायक दीप नारायण सिंह ने कहा कि हर साल रक्षाबंधन के दिन हमारी सारी बहनें यहां आती हैं. हमनें पहली बार साल 2004 में सामूहिक विवाह का आयोजन किया था और तभी से इस तरह से रक्षाबंधन का आयोजन करते आ रहे हैं. सभी बहने यहां आती हैं और हम उनके परिवार का कुशलक्षेम पूछते हैं. हमारे पास सभी वर्ग और धर्म की बहने हैं. सामाजिक समरसता, प्रेम और रिश्ते बढ़ाने में इस आयोजन ने काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. हमने जो भी शादियां कराई और निकाह कराये, वे आज भी निभ रहे हैं. हम चाहते हैं कि हमारी बहने जिन घरों में रहें, उन घरों की तरक्की हो.

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