झांसी : बहुजन समाज पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और राज्यसभा सांसद सतीश चंद्र मिश्रा शनिवार को पार्टी के प्रबुद्ध सम्मेलन में हिस्सा लेने झांसी पहुंचे. इस दौरान सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने ब्राह्मण समाज पर पूरे प्रदेश में हो रहे उत्पीड़न को मुद्दा बनाते हुए पार्टी के पक्ष में वोट करने की अपील की. उन्होंने इस मौके पर दलित समाज पर हो रहे उत्पीड़न और कानून-व्यवस्था की स्थिति को लेकर भी, प्रदेश सरकार पर हमला बोला. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में ब्राह्मणों को सबक सिखाने का काम किया जा रहा है. लेकिन इस बार ब्राह्मण योगी सरकार को सबक सिखा देंगे.
सतीश मिश्रा ने कहा कि महोबा में ब्राह्मण समाज के व्यापारी को पहले धमकी दी गई और बाद में उसकी गाड़ी रोककर अधिकारी ने गोली मारकर उसकी हत्या कर दी. साल भर बाद भी पुलिस के इस बड़े अधिकारी को ढूंढा जा रहा है, लेकिन ढूंढ नहीं पा रहे हैं. विकास दुबे को गोलियों से मार दिया गया और उसके बाद आधा दर्जन से ज्यादा लोगों को उसी मामले में मार दिया गया. इसके बाद ब्राह्मण समाज को सबक सिखाने के लिए पचास से ज्यादा लोगों को जेल में बंद कर दिया, जिनके खिलाफ कोई चार्जशीट नहीं है. साढ़े सोलह साल की खुशी दुबे को भी नहीं छोड़ा. उसके पति को पहले ही गोली मार दी थी. सात दिन उसको अज्ञात स्थान पर रखा. उसके साथ क्या किया, किसी को नहीं मालूम. फिर यह निर्देश हुआ कि इसका बेल नहीं होगा. लखनऊ में मुखिया ने कहा कि इसका पेरोल किसी भी कीमत पर नहीं होना चाहिए. उसका एक फर्जी सर्टिफिकेट बनवा दिया. दो महिलाओं को घर से उठाकर ले गए थे. तीन साल के मासूम बच्चे और छह साल की बच्ची को भी जेल भेज दिया.
सतीश मिश्रा ने कहा कि ये भूल जाते हैं कि ब्राह्मण भगवान परशुराम के वंशज हैं. ये जहां से आ आये हैं, उन्हें वहीं भेजने का काम ब्राह्मण समाज के लोग करेंगे. हाथरस में दलित समाज की बेटी के साथ बलात्कार हुआ. उसका मृत शरीर भी घर वालों को नहीं दिया. मीडिया वालों को भगाया गया. ढाई बजे रात में खेतों में मिट्टी का तेल डालकर उसे जला दिया गया. इन्होंने किसानों से कहा कि हम आमदनी दोगुना करेंगे लेकिन इनकी आमदनी शून्य पर पहुंचा दी और अब बची जमीन छीनने की कोशिश में हैं. उन उद्योगपतियों के कहने पर तीन कृषि कानून बनाये हैं, जो इन्हें चुनाव लड़ने के लिए आर्थिक मदद करते हैं. सभी सरकारी उपक्रम इन उद्योगपतियों को बेचने का काम कर रहे हैं. इन स्थानों पर ही सरकारी नौकरी मिलती थी. अब ऐसा कानून बनवाया है, जिनमें किसानों को मजबूरी में अपनी जमीन पट्टे में देनी पड़ेगी. इस जमीन को पाने के लिए किसान जीवन भर संघर्ष करेगा लेकिन जमीन वापस नहीं मिकेगी. पांच सौ किसानों की मौत हो गई है, लेकिन किसान आंदोलन वापस नहीं कर रहे हैं, क्योंकि वे जानते हैं कि इस कानून के लागू होने के बाद क्या होगा.
सतीश मिश्रा ने कहा कि यूपी में हर दो घण्टे में एक महिला के साथ रेप होता है. बहन जी की सरकार में महिलाएं रात में भी घर से निकलने में हिचकती नहीं थी. खुद के सांसद को घर बुलाकर वहां से जेल भिजवाया था, जिसने गरीबों के घर पर बुलडोजर चलवाया था. भाजपा ने ब्राह्मणों से धर्म के नाम पर वोट लिया. वोट और नोट लेते रहे. सर्वोच्च न्यायालय का निर्णय आने तक लाखों करोड़ों रुपये मंदिर के नाम पर वसूले. अयोध्या के नाम पर हजारों करोड़ रुपये सरकारी बजट से निकाले, लेकिन वहां एक नया पैसा नहीं लगा. पैसा कहां गया, किसी को नहीं मालूम. सुप्रीम कोर्ट का निर्णय आने से इनके चेहरे पर खुशी नहीं थी. निर्णय के बाद फिर से घर-घर जाकर राम के नाम पर दस हजार करोड़ रुपये इकट्ठा कर लिया. यह रुपया कहां गया. पुराना रुपया कहां गया. जमीन पर कोई काम नहीं हुआ. अभी नींव डालना भी शुरू नहीं हुआ है. इनसे सतर्क रहने की जरूरत है. ये समाजवादी पार्टी की नकल करते हैं. सपा की जब प्रदेश में सरकार आती है तो पूरे प्रदेश में गुंडागर्दी, बलात्कार, डकैती, अपराध बढ़ जाते हैं. ठीक उसी तरह भाजपा की सरकार में हो रहा है. सपा सरकार में भी ब्राह्मण समाज को सबक सिखाने का काम किया जाता था.
सतीश मिश्रा ने कहा कि ये झोपड़ियों में जाकर नाटक करते हैं. खाना बाहर से बनकर आता है. इनके नाटक को सभी जानते हैं. बहन मायावती नाटक नहीं करती हैं. मायावती ने झोपड़ियों में रहने वालों को बीस लाख से ज्यादा दो कमरे के मकान दिए थे. जिस दिन ब्राह्मण समाज एकजुट हो जाएगा, उसी दिन उत्तर प्रदेश में सोलह प्रतिशत नजर आएंगे. पच्चीस करोड़ में जहां तीन करोड़ लोग हों, उनके एक साथ आने से स्थिति कैसी होगी, यह कल्पना की जा सकती है. सीट जीतने के लिए सोलह प्रतिशत वोट पर्याप्त नहीं है. इसके लिए भाईचारा बनाने की जरूरत है. दलित समाज के लोग 23 प्रतिशत हैं. साल 2007 में पूरे यूपी में हमने सभा की. पचासी ब्राह्मणों को टिकट दिया. इसके बाद 45 सीटों पर ब्राह्मण समाज के लोग जीते. दलित समाज के लोगों ने 16 से बढ़कर 62 सीटों पर जीत हासिल की.