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जौनपुर: महिला आयोग की उपाध्यक्ष बोलीं- निर्भया के दोषियों को जल्द हो फांसी

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Published : Mar 5, 2020, 3:09 PM IST

उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा सिंह ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की. उन्होंने निर्भया मामले पर कहा कि इन सब केसों में राजनीति नहीं होनी चाहिए. मेरे आंख और कान देखने-सुनने के लिए तरस गये कि वो कब फांसी पर चढ़ेंगे.

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उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष

जौनपुर: उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा सिंह जनपद जौनपुर पहुंची. सुषमा सिंह ने महिलाओं के उत्थान के लिए सरकार की योजनाओं के बारे में अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक कर उसका जायजा लिया. उन्होंने कहा कि इन सब केसों में राजनीति नहीं होनी चाहिए.

सुषमा सिंह के साथ ईटीवी भारत की खास बातचीत.

सुषमा सिंह ने ईटीवी भारत से बात करते हुए कहा कि महिलाओं की जनसुनवाई के लिए एक व्हाट्सएप नंबर जारी किया गया है, जो महिलाओं की समस्याओं को सुनने का काम करता है. कुछ मामलों में एप्लीकेशन मिलने के 24 से 48 घंटे के अंदर कार्रवाई की जाती है.

उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा सिंह सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं एवं महिलाओं की समस्याओं को लेकर सुनवाई करने के लिए जनपद जौनपुर पहुंची थीं. यहां उन्होंने ईटीवी भारत से खास बातचीत की. दुष्कर्म के मामलों में प्रभावशाली लोगों के दबाव पर विलंब से कार्रवाई के सवाल पर उन्होंने कहा कि दुष्कर्म , घरेलु हिंसा एवं दहेज उत्पीड़न के मामलों में हम नहीं देखते कि ये कितने प्रभावशाली व्यक्ति के खिलाफ हैं. महिला आयोग सिर्फ कोर्ट के केसों में हस्तक्षेप नहीं करती है.

सुषमा सिंह ने कहा कि हम लोग पीड़ित का मेडिकल कराना, फर्स्ट डेट देना, जो उनके ऊपर धाराएं लगी हैं उनके साथ छेड़छाड़ न हो, परिजनों पर दवाब न बनाया जाए. इसके लिए प्रशासन को लिखते हैं.

किसी भी प्रकार की हिंसा से पीड़ित महिलाओं के लिए वन स्टॉप सेंटर महिला जिला हॉस्पिटल में बनाया गया है, जो तीसरी मंजिल पर है के सवाल पर महिला आयोग कि उपाध्यक्ष ने कहा कि तीसरी मंजिल पर होना बहुत गलत है. प्रदेश के अन्य जिलों में ऐसे मामले प्रकाश में आए हैं, जिसे हम लोगों ने ग्राउंड फ्लोर पर लाने का काम किया है. यह गाइडलाइन के खिलाफ है. इसे जिला प्रोबिशन अधिकारी के प्रभाव से तुरंत नीचे ग्राउंड फ्लोर लाना चाहिए.

निर्भया केस के मामले में सजा टलने के सवाल पर महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा ने कहा कि इस प्रकार के केसों का प्राथमिकता के आधार पर सॉल्यूशन होना चाहिए, वो इस तरह से टलेगा तो लोगों का विश्वास टूटता जाएगा. मैं एक खुद महिला हूं मेरी आंखें और कान देखने सुनने के लिए तरस गई हैं कि वो फांसी पर कब चढ़ेंगे. इन सब केसों में राजनीति नहीं होनी चाहिए.

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