जौनपुरः प्रदेश में पंचायत चुनाव को देखते हुए इस बार बसपा भी सक्रिय हो गई है. ग्रामीण स्तर पर खुद को मजबूत करने के लिए पार्टी प्रमुख मायावती ने अपने सभी सीनियर नेताओं को प्रदेश भर में नेताओं और कार्यकर्ताओं संग बैठक कर रणनीति तैयार करने का निर्देश दिया है. पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और बंगाल और झारखंड के प्रभारी रामअचल राजभर ने आगामी पंचायत चुनाव को लेकर जौनपुर में पार्टी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं संग बैठक की.
बैठक के बाद रामअचल राजभर ने मीडिया से बात की और पार्टी की रणनीतियों के बारे में चर्चा की. इस दौरान प्रदेश की राजनीति पर चर्चा करते हुए उन्होंने सपा और भाजपा पर जमकर निशाना साधा.
रामअचल राजभर ने कहा कि त्रिस्तरीय चुनाव को लेकर राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती के निर्देश पर सभी जोन के सेक्टर प्रभारियों को दायित्व दिया गया है. उनके माध्यम से सभी उम्मीदवारों को उनके कार्यशैली के आधार पर चयन कर जिला पंचायत सदस्य के लिए मैदान में उतारा जाएगा. पार्टी में त्रिस्तरीय चुनाव को लेकर तैयारियां अंतिम चरण में है. इस चुनाव के माध्यम से बसपा प्रदेश में एक बार फिर अपना दमखम जरूर दिखाएगी.
पंचायत चुनाव पर बसपा नेता रामअचल राजभर ने बताई पार्टी की रणनीति कानून-व्यवस्था पर फेल है योगी सरकार इस दौरान राम अचल राजभर ने मौजूदा भाजपा सरकार को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के अंदर कानून-व्यवस्था लचर अवस्था में है. वर्तमान सरकार अपराध ही नहीं बल्कि हर मुद्दे पर फेल है. उत्तर प्रदेश के अंदर फिर चाहे वह कानून-व्यवस्था हो विकास कार्य के दावे हैं या फिर बेरोजगारों को रोजगार देने की बात हो. प्रदेश के अंदर महिलाएं भी अब सुरक्षित नहीं हैं. भाजपा की कथनी और करनी में जमीन आसमान का अंतर है. उत्तर प्रदेश के अंदर हाहाकार मचा हुआ है. चोरी, हत्या, लूट, डकैती और बलात्कार के मामले निरंतर बढ़ते जा रहे हैं. 2017 के विधानसभा चुनाव की बात हो या फिर 2019 के लोकसभा चुनाव की बात हो. भाजपा ने जो वादा किया उसे पूरा नहीं कर पाई. यह सरकार पूरी तरह से विफल है.
ओवैसी से बसपा को नहीं होगा राजनीतिक नुकसान
राजभर ने कहा कि उत्तर प्रदेश में एआईएमआईएम प्रमुख ओवैसी की राजनीतिक एंट्री और भीम आर्मी के चंद्रशेखर के राजनीतिक दल बनाने से बसपा को कोई नुकसान नहीं होगा. राम अचल राजभर ने कहा कि बसपा बहुजन आंदोलन को आगे बढ़ा रही है. इसके लिए हमारी राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती निरंतर प्रयासरत है. आगामी 2022 के विधानसभा चुनाव में गठबंधन की बात पर उन्होंने कहा कि इसके लिए शीर्ष नेतृत्व जो फैसला लेगा उसी हिसाब से पार्टी के कार्यकर्ता अमल करते हुए उस पर कार्य करेंगे. सर्वसमाज के लोग अब यह चाहते हैं कि प्रदेश की कमान 2022 में मायावती जी के हाथों में हो.