हाथरस:योगी सरकार ने अपने कार्यकाल के चार साल पूरे कर लिए हैं. सरकार के मंत्री और विधायक प्रदेश में किए गए विकास कार्यों को लेकर जनता के सामने कसीदे पढ़ रहे हैं. खासकर सड़कों की कनेक्टिविटी और गड्ढा मुक्त होने की बात को लेकर. लेकिन, उनके ये दावे कितने पुख्ता हैं, इसकी बानगी आपको देखने को मिलेगी अलीगढ़ के इगलास तहसील में. सरकारी दावों और हकीकत के विपरीत यहां कुछ ऐसी सड़के हैं जिन्हें देखकर अंदाजा लगाना मुश्किल है कि, सड़क में गड्ढे हैं या गड्ढे में सड़क. ऐसा ही कुछ हाल हाथरस की सासनी तहसील से अलीगढ़ की इगलास तहसील को जोड़ने वाली सड़क का. इस सड़क की हालत बेहद खस्ता है. जिस पर चलना लोगों के लिए दूभर हो रहा है.
गड्ढों में सड़क या सड़क में गड्ढे बताना मुश्किल - बदहाल सासनी-इगलास रोड
हाथरस के सासनी तहसील से इगलास तहसील (अलीगढ़) की दूरी 14 किलोमीटर है. वर्तमान में यह सीमेंटीकृत सड़क जर्जर हालत में है. ऊबड़-खाबड़ रास्ते की वजह से दुर्घटना की आशंका से राहगीर परेशान हैं. सड़क खराब होने से गाड़ियों का मेंटेनेंस भी बढ़ गया है. राहगीरों का कहना है कि जिम्मेदारों को रोड की मरम्मत करानी चाहिए.
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राहगीर बोले जिम्मेदारों को रोड का मेंटेनेंस कराना चाहिए
बदहाल सड़कों के कारण वाहन चालकों की परेशानी दूर नहीं हुई है. सड़क खराब होने से कई बार वाहनों का संतुलन बिगड़ जाता है, जिससे पलटने का डर बना रहता है. आवागमन के बीच इस तरह की स्थिति बड़ी दुर्घटना को जन्म दे सकती है. राहगीरों का कहना है यदि रोड के गड्ढे भर दिए जाएं तो कहीं हद तक परेशानी कम हो सकती है. उनका कहना है कि जिम्मेदारों को रोड की मरम्मत करानी चाहिए. स्थानीय लोगों की मानें तो कई बार क्षेत्रीय विधायक सदर हरीशंकर माहौर और सांसद राजवीर सिंह दिलेर से रोड की मरम्मत के लिए शिकायत की गई, लेकिन, हर बार आश्वासन ही मिला. हालांकि प्रदेश सरकार में राज्यमंत्री महेश गुप्ता ने मामला संज्ञान में आने के बाद रोड की मरम्मत की बात कही है.