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कोलकाता में आयोजित होगा इंडिया इंटरनेशनल साइंस फेयर, दिखेगी गोरखपुर की प्रतिभा - gorakhpur news

उत्तर प्रदेश के गोरखपुर के दो युवा वैज्ञानिक कोलकाता में होने वाली इंडिया इंटरनेशनल साइंस फेयर में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाएंगे. इंडिया इंटरनेशनल साइंस फेयर कोलकाता में 5 से 8 नवंबर तक आयोजित होगी.

दो युवा वैज्ञानिक कोलकाता में करेंगे अपनी मेधा का प्रदर्शन.

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Published : Nov 2, 2019, 5:16 PM IST

गोरखपुर: कोलकाता में 5 से 8 नवंबर तक आयोजित हो रही इंडिया इंटरनेशनल साइंस फेयर में जिले के दो युवा वैज्ञानिक भी अपनी मेधा का प्रदर्शन करेंगे. मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के 'डिजाइन इनोवेशन और इनक्यूबेशन सेंटर' के मार्गदर्शन में अपने शोध को आगे बढ़ाने वाले इन दोनों वैज्ञानिकों का शोध कृषि आधारित है. 11वीं के छात्र राहुल सिंह ने बैटरी चालित ट्रैक्टर बनाकर अपनी शोध प्रतिभा का प्रदर्शन किया है. वहीं एमसी डिग्रीधारी छात्र तेज प्रकाश यादव ने भी बहु उपयोगी डिजिटल इंडिया विलेज मैनेजमेंट सॉफ्टवेयर का डिजाइन किया है.

दो युवा वैज्ञानिक कोलकाता में करेंगे अपनी मेधा का प्रदर्शन.

राहुल के शोध को राज्य सरकार ने दी मान्यता
राहुल बेहद खुश है कि उसकी मेहनत को राज्य सरकार ने मान्यता देते हुए शोध को आगे बढ़ाने के लिए करीब 5.50 लाख रुपये का बजट भी स्वीकृत कर दिया है. राहुल का यह ट्रैक्टर करीब 60 हजार रुपये में तैयार हो जाएगा, जो बैटरी से चलेगा .जुताई के दौरान की बैटरी चार्ज भी होती रहेगी. ट्रैक्टर का निर्माण करने वाला छात्र राहुल 11वीं कक्षा का छात्र है. राहुल पिछले 3 वर्षों से शोध के क्षेत्र में कई तरह के प्रोजेक्ट बना रहा था.

राहुल सिंह का कहना है कि किसानों की समस्या, डीजल और पेट्रोल की महंगाई को देखते हुए वह ऐसा ट्रैक्टर बनाने की सोच रहा था, जो वायु प्रदूषण भी न करें और सस्ता भी हो.

तेज प्रकाश यादव एमसीए के छात्र हैं. वह भी नित नए प्रयोग में जुटे रहने और अपने सॉफ्टवेयर डेवलपिंग के बल पर ही मदन मोहन मालवीय इंजीनियरिंग विश्वविद्यालय के इनोवेशन सेंटर के शोधार्थी के रूप में शामिल हुए. तेज प्रकाश बताते हैं कि उनके सॉफ्टवेयर की प्रोग्रामिंग ऐसी है, जिसमें नगर पंचायत, ग्राम पंचायत, नगर पालिका और नगर निगमों के प्रमुख अधिकारी हर सूचना स्वयं अपडेट कर सकेंगे. कोई भी इससे जुड़कर किसी भी परियोजना का जायजा ले सकता है. इस सिस्टम में ब्लॉक और तहसील को भी जोड़ा गया है, जिससे सूचना देने के साथ निवास, जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र, यह सब आटोमेटिक बन जाएगा. साथ ही इन इकाइयों में खर्च हो रहे बजट का डाटा भी अपने आप फीड हो जाएगा.

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