गोंडा: स्वाथ्य विभाग में डीएम की कार्रवाई लगातार जारी है. डीएम की साफ चेतावनी के बाद भी न सुधरने वाले महिला अस्पताल के दो कर्मियो पर बर्खास्तगी की गाज गिरी है. डीएम मार्कंडेय शाही के आदेश पर महिला अस्पताल की डॉक्टर रश्मि शर्मा एवं स्वीपर अमन कुमार की सेवा समाप्त कर दी गई है.
डीएम को मिल रही शिकायत के बाद हुई कार्रवाई
जिले के गांव माझा तरहर निधऊ पुरवा मधईपुर निवासी मनीष दुबे ने डीएम से शिकायत की थी कि उसने अपनी भाभी ज्योति को इलाज हेतु जिला महिला अस्पताल में भर्ती कराया था. जिसका इलाज डॉक्टर रश्मि शर्मा कर रही थीं. मरीजों को बाहर से दवा न लिखने की सख्त हिदायत के बाद भी महिला अस्पताल की डॉक्टर डॉ रश्मि शर्मा ने नया तरीका निकाल लिया और अस्पताल के स्वीपर अमन कुमार को मरीज के तीमारदार के साथ भेजकर मेडिकल स्टोर वाले से बात कराने को कहा. डॉक्टर से बात कराई गई, जिस के क्रम में मेडिकल स्टोर से मरीज को साढ़े नौ सौ रुपए की दवाई दी गई.
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इसकी शिकायत मिलने पर जिलाधिकारी ने संज्ञान लेते हुए महिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉक्टर एपी मिश्र को मामले की जांच कर तत्काल रिपोर्ट देने के आदेश दिए. जिसमें यह तथ्य सामने आया कि महिला अस्पताल की डॉ. रश्मि ने अस्पताल में कार्यरत स्वीपर अमन कुमार को मरीज के तीमारदार के साथ भेजा और उसी के मोबाइल से बात कर मेडिकल स्टोर वाले व्यक्ति को दवा देने के निर्देश दिए. जांच में शिकायत सही पाई गई जिस पर जिलाधिकारी के आदेश पर डॉ रश्मि शर्मा और स्वीपर अमन कुमार की सेवा समाप्त कर दी गई है.
जिलाधिकारी का चेतावनी
जिलाधिकारी ने कहा कि भ्रष्टाचारियों के खिलाफ उनका एक्शन लगातार जारी रहेगा, जो भी अधिकारी कर्मचारी सरकार की मंशा अनुसार सुविधाओं को जनता तक पहुंचाने में आनाकानी करेंगे. वे कार्रवाई के लिए बिल्कुल तैयार रहें. उन्होंने स्पष्ट कहा है कि भ्रष्टाचार को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.