उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

कन्नौज बस हादसे में ARTO को मिली क्लीन चिट, पत्रावली बनी सहारा - फर्रुखाबाद समाचार

30 जनवरी 2020 को कन्नौज के छिबरामऊ में एक निजी बस हादसे में 10 यात्रियों की जलकर मौत हुई थी. घटना के बाद फर्रुखाबाद जिले के उपसंभागीय परिवहन कार्यालय में बरती जा रही लापरवाही सामने आई है. जिस बस में आग लगी थी, उस सामान्य बस में सुरक्षा मानकों को दरकिनार कर उसे स्लीपर बस में तब्दील कर किया गया था. अब जांच पूरी होने के बाद एआरटीओ को क्लीन चिट दी गई है.

farrukhabad news
कन्नौज बस हादसे के एआरटीओ को मिलेगी क्लीनचिट.

By

Published : Jan 19, 2021, 1:32 PM IST

फर्रुखाबाद:जिले में 30 जनवरी 2020 को छिबरामऊ के घिलोई में फर्रुखाबाद से गुरसहायगंज होकर दिल्ली जा रही निजी बस आग का गोला बन गई थी और उसके अंदर बैठे 10 यात्रियों की जलकर मौत हुई थी. यह घटना हुई तो फर्रुखाबाद जिले के उपसंभागीय परिवहन कार्यालय में हो रही लापरवाही की कलई खुल गई. क्योंकि जिस बस में आग लगी थी, उस सामान्य बस में सुरक्षा मानकों को दरकिनार कर उसे स्लीपर बस में तब्दील कर दिया गया. हकीकत तो यह थी कि उस बस में इमरजेंसी विंडो तक नहीं थी. यही कारण रहा कि जब आग लगी तो यात्री उसके बाहर नहीं निकल सके और वह आग में जल गए. यह बस फर्रुखाबाद शहर में विमल चतुर्वेदी की पत्नी प्रीति चतुर्वेदी के नाम पंजीकृत थी.

सामान्य बस को स्लीपर बस में तब्दील करने की बड़ी लापरवाही का जिम्मेदार तत्कालीन एआरटीओ मोहम्मद हसीब खान और शशि भूषण पांडेय ठहराया गया था. इनके खिलाफ 19 फरवरी को आरटीओ प्रवर्तन कानपुर राकेश सिंह ने फतेहगढ़ कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया था. इस मामले में विवेचन कर्नलगंज चौकी प्रभारी तेज बहादुर सिंह कर रहे थे. उन्होंने इन दोनों अधिकारियों को अपनी विवेचना में क्लीन चिट देते हुए फाइनल रिपोर्ट भेज दी है. मोहम्मद हसीब इस वक्त हमीरपुर जिले में एआरटीओ प्रशासन हैं और शशि भूषण पांडेय इसी पद पर फर्रुखाबाद में तैनात हैं.

ढूंढे नहीं मिली हादसे वाली बस समेत पांच बसों की पत्रावलियां
छिबरामऊ में बस हादसा होने के बाद एआरटीओ कार्यालय से स्लीपर बसों की पत्रावलियां गायब हो गईं थी, जिसमें 13 पत्रावलियां तो एआरटीओ कर्मचारी को मिल गईं, लेकिन दुर्घटनाग्रस्त बस समेत पांच बसों की पत्रावलियां अभी भी लापता हैं. बताया जा रहा है कि विवेचक ने हादसे का शिकार हुई बस की पत्रावली गायब होने को क्लीन चिट देने का आधार बनाया है.

कोर्ट से हुई थी बहाली
छिबरामऊ बस हादसा होने के बाद एआरटीओ मोहम्मद हसीब खान और शशि भूषण पांडेय को शासन के आदेश पर निलंबित कर दिया गया था. उसके बाद दोनों अधिकारी उच्च न्यायालय के आदेश पर बहाल हो गए और संबंधित जिलों में तैनाती पा गए. 19 फरवरी को फतेहगढ़ कोतवाली में एआरटीओ प्रवर्तन कानपुर राकेश सिंह ने मुकदमा दर्ज कराया था.

अपर पुलिस अधीक्षक अजय प्रताप सिंह ने बताया कि स्लीपर बस की पत्रावली गायब होने के मामले में जांच की जा रही है. विवेचक को केस डायरी समेत तलब किया गया है. लापरवाही बरतने के आरोप में क्लीन चिट देने के मामले में एसपी ने कहा कि मामला उनके संज्ञान में है. साक्ष्यों के अभाव में विवेचना समाप्त की गई है फिर भी अगर कोई शिकायत करता है तो फिर उस से जांच करा दी जाएगी.

ABOUT THE AUTHOR

...view details