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इटावा रेलवे स्टेशन पर कई सीसीटीवी कैमरे टूटे,  37 कैमरे हैं 2 मेगापिक्सल - इटावा रेलवे स्टेशन पर कैमरा

इटावा रेलवे स्टेशन पर सीसीटीवी कैमरा लगाने में खानापूर्ति की जा रही है. स्टेशन पर अधिकांश 2 मेगापिक्सल के कैमरे लगाए गए हैं, जिनका विजन क्लीयर नहीं है. वहीं कई कैमरे लगने के साथ ही टूटने भी शुरू हो गए हैं.

cctv on etawah railway station
इटावा रेलवे स्टेशन पर लगे कई कैमरे टूटे.

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Published : Aug 9, 2020, 6:17 AM IST

Updated : Sep 4, 2020, 12:24 PM IST

इटावा: रेलवे विभाग ने लॉकडाउन के समय रेलवे को सुनियोजित और अत्याधुनिक करने के लिए कई काम किये. इसी क्रम में इटावा रेलवे स्टेशन पर लोगों को परेशानी से निजात दिलाने के लिए कोच पैनल लगाए गए. इसी के साथ तीसरी आंख कहे जाने वाले सीसीटीवी भी लगवाए जा रहे हैं, ताकि रेलवे स्टेशन में चल रही हर गतिविधि पर पैनी नजर रखी जा सके, लेकिन इस योजना में काम करने वाली कंपनी रेल एंड टेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड पूरी तरीके से खानापूर्ति ही करती नजर आ रही है.

लोग आज घरों में भी 2 मेगापिक्सल कैमरे नहीं लगाते हैं, जबकि कंपनी ने पूरे स्टेशन में 40 में से 37 कैमरे 2 मेगापिक्सल लगा दिए हैं, जिनमें विजन क्लियर नहीं है. रात की कौन कहे, दिन में भी साफ तरीके से गतिविधियों पर नजर नहीं रखी जा सकती है. इसी के साथ कई कैमरे लगने के साथ ही टूटने भी शुरू हो गए हैं. वहीं कंट्रोल रूम में एसी की छोड़ो, पंखे की भी व्यवस्था नहीं की गई है, जबकि लगातार हीटिंग होने वाले सर्वर रूम में कोई बड़ी घटना होने के साथ ही फाल्ट के साथ हैक की भी समस्या हो सकती है.

कंट्रोल रूम में आएंगी कई समस्याएं
टेक्निकल स्टाफ में कार्यरत अनित ने बताया कि कंट्रोल रूम में यूपीएस और बैटरी रखी हुई है. इसी के साथ यहां पर सर्वर रूम भी बनाया गया है. यहां पर एसी लगना था, लेकिन अभी तक नहीं लग पाया है. वहीं अनित ने बताया कि जिस वजह से यहां हीटिंग की समस्या भी हो सकती हैं. इसी के साथ यहां हीट की वजह से यूपीएस हैक से लेकर फाल्ट की भी समस्या हो सकती है.

इटावा रेलवे स्टेशन पर लगे कई कैमरे टूटे.

टूटने लगे सीसीटीवी
स्टेशन में सीसीटीवी लगने का काम शुरू हो गया है. अभी लगभग सभी जगह सीसीटीवी लग भी रहे हैं. वहीं अभी काम पूरा हुआ भी नहीं था कि कैमरे टूटने शुरु हो गए. कई जगह कैमरे टूटकर लटक गए हैं तो कहीं पर विजन जा चुका है. वहीं इन कैमरों में सबसे बड़ी समस्या यह है कि 2 मेगापिक्सल होने की वजह से किसी का भी विजन क्लियर नहीं है, जिस वजह से कल को कोई बड़ी घटना हो जाती है तो इससे इन कैमरे के विजन के सहारे दोषी को पहचाना कठिन होगा. वहीं यह कैमरे नाइट विजन न होने की वजह से रात में भी एक समस्या पैदा करेंगे.

40 में सिर्फ 34 कैमरे अभी लाइव
टेक्निकल स्टाफ में कार्यरत अनित कश्यप ने बताया कि स्टेशन में 40 कैमरे लगने हैं, जिसमें 34 लग गए हैं और वाईफाई न होने की वजह से 6 कैमरे का काम रुका हुआ है और यह भी जल्द शुरू कर दिया जाएगा. अधिकांश 2 मेगापिक्सल के तो सिर्फ 3 पीटीजेड कैमरे 8 मेगापिक्सल के हैं, जिसमें अभी सिर्फ दो कैमरे ही चालू हैं.

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Last Updated : Sep 4, 2020, 12:24 PM IST

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