देवरियाः जिले के पूर्व एमएलसी रामू और उनके तीन साथियों को पुलिस ने शनिवार को जेल भेज दिया. पुलिस के रडार पर पूर्व एमएलसी के करीबी है, जिनकी तलाश सरगर्मी से चल रही है. इस कार्रवाई को राजनीतिक प्रतिशोध बताया जा रहा है. पुलिस ने रामू को ठिकाना बदल बदल कर रखा. सात साल पुराने मामले में बसपा के पूर्व एमएलसी संजीव द्विवेदी उर्फ रामू द्विवेदी को शुक्रवार को लखनऊ के बहुखंडी के पास से गिरफ्तार किया गया है.
समर्थकों को पुलिस ने खदेड़ा
तीन दिनों से पूर्व एमएलसी रामू का रिकार्ड पुलिस खंगाल रही थी. लखनऊ से सुबह करीब 8 बजे पुलिस देवरिया रामू को लेकर पहुंची. सदर कोतवाली के बजाय रामपुर कारखाना थाने में इन्हें रखा गया. समर्थक रामू से मिलने के लिए कोतवाली पहुंचे तो पुलिस ने खदेड़ दिया. दिन में 11 बजे पुलिस रामू को शहर में लेकर आई और पशु अस्पताल में दो घंटे तक रखी थी. जबकि इनके साथी कोतवाली में बैठाए गए थे. एमएलसी रामू समेत इसके तीन साथियों को मेडिकल कराने के लिए लेकर पुलिस जिला अस्पताल पहुंची. पुलिस के वाहन के पीछे रामू के सर्मथकोे का वाहन था. रामू से मीडिया कर्मियों ने पूछा कि कुछ बोलना है तो पुलिस ने मना कर दिया, जबकि रूधे गले से रामू बोला कि वक्त आने पर बोलूंगा. रामू को पुलिस अलग वाहन में ले गई, जबकि इसके साथियों को दूसरे वाहन से ले जाया गया.
साजिश के तहत फंसा रही पुलिस
रामू के भाई श्यामू द्विवेदी ने ब्राहम्ण होना गुनाह है. पुलिस साजिश के तहत फंसा रही है. रामू भईया कोरोना से पीड़ित थे, 15 दिन पूर्व वह दिल्ली मैक्स अस्पताल से घर आए थे और लखनऊ आवास पर स्वास्थ्य लाभ ले रहे थे. शुक्रवर को करीब डेढ़ बजे रात को उनकी गिरफ्तारी की खबर मिली. पुलिस कोई भी कारण नहीं बता रही है. वहीं, सपी डाॅ. श्रीपति मिश्र ने बताया कि देवरिया पुलिस ने दो मामलों में फरार चल रहे पूर्व एमएलसी रामू द्विवेदी, उसके सहयोगी कुणाल मल्ल, बजरंगी तिवारी और मनीष मिश्र को गिरफ्तार कर विधिक कार्रवाई की जा रही है. जबकि एक सहयोगी पुलिस की पहुंच से अभी भी दूर है, जिसकी तलाश पुलिस कर रही है.