चित्रकूट:कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम के लिए लॉकडाउन किया गया है. ऐसे में मूर्ति बनाने वाले मूर्तिकारों के काम बंद हो गए हैं. जिले में तमाम मूर्तिकारों के काम पर ग्रहण लग गया है. इस कारण से उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. मूर्तिकारों का कहना है कि ऐसी घड़ी में मुश्किल से ही अब घर चल पा रहा है.
चित्रकूट जिला मुख्यालय के पासी चौराहे के रहने वाले 50 परिवार लगभग सभी मूर्ति कारीगरी का काम करते आ रहे हैं. जिले के पासी चौराहे की बनी मूर्तियां चित्रकूट ही नहीं बल्कि कई प्रदेशों में प्रसिद्ध हैं. यहां की बनी मूर्तियों की मांग इतनी है कि मध्य प्रदेश के सतना, जबलपुर से लेकर महाराष्ट्र के नासिक तक के व्यापारी यहां आकर मूर्तियों के लिए अग्रिम धनराशि इन कारीगरों तक देकर जाते हैं.
मूर्तियों की इतनी मांग होने पर भी इन मूर्तिकारों की स्थिति ज्यादा बेहतर नहीं है. सुबह की पहली किरण निकलते ही यह कारीगर अपने घरों के बाहर छेनी हथौड़ी लिए निकल पड़ते हैं. इनकी दिनचर्या में छेनी हथौड़ी और पत्थरों का साथ सूरज डूबने तक रहता है. जी तोड़ मेहनत के बाद ही कुछ कमा पाते हैं, जिससे उनका और परिवार का भरण पोषण होता है.