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बुलंदशहर: डीएफसीसी प्रकरण में राकेश टिकैत ने किसानों संग डीएम से की बात - rakesh tikait talks to dm with farmers in bulandshahar

उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में रेलवे के बहुआयामी डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर मामले में जमीन के अधिग्रहण को लेकर किसानों का धरना प्रदर्शन जारी है. किसानों के समर्थन में भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने संगठन के कार्यकर्ताओं और प्रभावित किसानों संग डीएम के साथ बैठक की.

राकेश टिकैत ने किसानों संग डीएम से की बातचीत.
राकेश टिकैत ने किसानों संग डीएम से की बातचीत.

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Published : Mar 20, 2020, 4:57 AM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:28 PM IST

बुलंदशहर: खुर्जा जंक्शन क्षेत्र में रेलवे के बहुआयामी डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के लिए सरकार द्वारा अधिग्रहित जमीन के एक समान मुआवजे की मांग को लेकर किसानों की मांग तेज होती जा रही है. इसके समर्थन में गुरुवार को भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने संगठन के कार्यकर्ताओं और प्रभावित किसानों संग डीएम के साथ बैठक की. अब किसान यूनियन सभी किसानों के तमाम दस्तावेजों के साथ पुनः अफसरों के सामने अपना पक्ष रखेगी.

राकेश टिकैत ने किसानों संग डीएम से की बात.

भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने डीएम से मुलाकात की. इस मौके पर यूनियन के कार्यकर्ता और खुर्जा जंक्शन क्षेत्र के किसान भी मौजूद रहे. बता दें कि रेलवे के बहुआयामी डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर मामले में जमीनों के अधिग्रहण को लेकर जो मुआवजा किसानों को दिया गया है, वह उसको नाकाफी मानते हैं. इस वजह से लंबे समय से किसानों का धरना प्रदर्शन भी जंक्शन क्षेत्र के गांव मदनपुर में चल रहा है.

27 गांव के प्रभावित किसानों का एक संगठन राकेश टिकैत के साथ मौजूद था. इस मौके पर ईटीवी भारत से बातचीत में राकेश टिकैत ने बताया कि 25 मार्च को जो किसान आंदोलन का कार्यक्रम प्रस्तावित था स्थगित कर दिया गया है. उन्होंने किसानों की तमाम समस्याओं पर डीएम के समक्ष गम्भीरता से पैरवी की. वहीं डीएम ने बताया कि क्योंकि ये मामला कोर्ट में है तो इसमें प्रशासन के हाथ में बहुत कुछ नहीं है.

किसानों की बात की जाए तो बुलंदशहर के 27 गांवों के किसान नोएडा की तर्ज पर मुआवजे की मांग करते आ रहे हैं. इस मौके पर किसान यूनियन नेताओं ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि जब तमाम साक्ष्य किसानों की तरफ से रखे जाएंगे तो प्रशासन को गम्भीर होना पड़ेगा. उन्होंने कहा कि नए भूमि अधिग्रहण के आधार पर किसानों को इसका लाभ मिलना चाहिए. अब दस्तावेजों संग प्रशासन से बात की जाएगी, जिसके लिए समय लिया गया है.

Last Updated : Sep 17, 2020, 4:28 PM IST

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