बुलंदशहर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी योजनाओं में शुमार 'प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना' के पात्रों को अभी तक इस योजना का लाभ नहीं मिल पाया है. यही वजह है कि जिले में हर दिन योजना के पात्र किसान अधिकारियों की चौखटों के चक्कर लगा रहे हैं. प्रधानमंत्री की इस योजना तहत मिलने वाली धनराशि के लिए पात्रों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना का लाभ पाने के लिए अधिकारियों के चक्कर काट रहे लाभार्थी. 'प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना' के तहत जिले में करीब 4 लाख 46हजार 367 से भी ज्यादा पात्रों का डेटा लॉक किया जा चुका है. इनमें से 3लाख 34हजार 696 किसानों को पात्रता सूची में शामिल किया जा चुका है. जबकि 1लाख 86हजार 671 किसानों को प्रथम किश्त भी दी जा चुकी है. वहीं इसमें ऐसे किसानों की भी संख्या अच्छी खासी है, जिन्हें अभी तक एक किश्त भी मुहैया नहीं हो पाई है. वो भी तब हो रहा है जब सरकार ने सब कुछ ऑनलाइन किया हुआ है. एक ओर जहां टेक्निकल दिक्कतें बार-बार सामने आ रही हैं, तो वहीं अफसर खुद भी इस बात को स्वीकार कर रहे हैं कि दिक्कतें हैं.
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कृषि उपनिदेशक आरपी चौधरी का कहना है कि पहले योजना के पात्रों के लिए आधार की अनिवार्यता नहीं थी. आधार कार्ड की अनिवार्यता होने की वजह से भी पात्रों को समय से भुगतान नहीं हो पाया है. वहीं दूसरी तरफ यह भी मानते हैं कि और भी कई तकनीकी खामियां यहां हैं, जिनसे निपटने का प्रयास किया जा रहा है. फिलहाल जिले में हर रोज कृषि उपनिदेशक और कृषि अधिकारी के दफ्तरों में अन्नदाता अपने दस्तावेजों के साथ आकर अपनी परेशानियों से अफसरों को अवगत करा रहे हैं.
किसानों का आरोप है कि अधिकारी बार-बार प्रार्थना पत्र लिखवाकर रख लेते हैं और साथ ही आश्वासन देकर वापस भेज देते हैं, जिससे उन्हें बेवजह परेशान होना पड़ता है. फिलहाल बुलंदशहर में हर रोज काफी किसान इस योजना का लाभ लेने की उम्मीद से लोग अफसरों के चौखट पर पहुंचते हैं. किसानों को भी उम्मीद है कि सरकार की इस योजना का लाभ उन्हें मिलेगा, लेकिन फिलहाल किसान इस योजना के लांच होने के बाद से अब तक एक भी किश्त न आने से काफी परेशान हैं.