बुलंदशहर:यूपी के विभिन्न जनपदों में टिड्डी दल की मौजूदगी से किसान परेशान हैं. तीन दिन पूर्व हरियाणा के रास्ते बुलंदशहर के कुछ इलाकों में आंशिक नुकसान करके टिड्डी दल अलीगढ़ की तरफ चला गया था. अफसरों का कहना है कि अभी भी खतरा बरकरार है. लिहाजा अब कृषि विभाग के अफसर टिड्डियों के खतरे के चलते जिले की सीमाओं पर निगरानी कर रहे हैं.
टिड्डी दलों के हमले से किसान बेहाल
काफी समय से देश के कई हिस्सों में किसान टिड्डियों के तांडव से बेहाल हैं. वहीं अब बुलंदशहर में भी टिड्डियों का दल तीन दिन पहले दस्तक दे चुका है. ये टिड्डी दल किसानों के खेतों में खड़ी फसलों को चट कर रहे हैं. ऐसे में किसान फसलों को लेकर खासा चिंतित और डरे हुए हैं. हालांकि कृषि विभाग को आशंका है कि टिड्डी दल गौतमबुद्धनगर के रास्ते जनपद में दाखिल होने के बाद खुर्जा होते हुए अलीगढ़ की तरफ निकल गया था.
जिला कृषि अधिकारी एके सिंह ने बताया कि अलीगढ़ में टिड्डियों के होने की जानकारी मिल रही है. उन्होंने बताया कि हम किसानों को टिड्डी दल से फसल बचाने के लिए जागरूक कर रहे हैं. शासन की मंशा के अनुसार इनके खात्मे के लिए किसानों को जागरूक किया जा रहा है. वहीं जिला कृषि रक्षा अधिकारी अमरपाल सिंह का कहना है कि टिड्डी दल का मार्ग निर्धारण हवा की चाल पर भी निर्भर करता है. पूर्व दिशा में हवा चलने से जिले में फिर से टिड्डी दल की आमद हो सकती हैं. फिलहाल पश्चिम की हवा चलने पर खतरा टल भी सकता है. खतरे को देखते हुए अरनिया और पहासू क्षेत्र में फायर ब्रिगेड की गाड़ियों में कीटनाशक भरकर छिड़काव करने की तैयारी अधिकारी कर रहे हैं.
जिला कृषि रक्षा अधिकारी अमरपाल सिंह के मुताबिक टीड्डी दलों के हमले को सरकार ने दैवीय आपदा घोषित किया है. उन्होंने बताया कि राजस्थान, हरियाणा राज्य के समीपवर्ती जिलों के लिए शासन से अलग अलग आधार पर बजट स्वीकृत किया गया है. फिलहाल प्रशासनिक अफसरों की टीम फसलों को हुए नुकसान आंकलन कर रही हैं. उप निदेशक कृषि आरपी चौधरी ने ईटीवी भारत को बताया कि सतर्कता बरती जा रही है. जिन किसानों का नुकसान हुआ है, उन्हें फसल बीमा योजना के तहत लाभ दिया जाएगा.