बरेली: जिले के तहसील नवाबगंज के क्योलड़िया थाना छेत्र के ज्योति जागीर गांव के पास कैलाश नदी पर लकड़ी का पुल बनाकर तो कभी नाव पर सवार होकर ग्रामीण नदी पार करते हैं. हर बार चुनाव में यह यहां स्थायी पुल बनने का मुद्दा उठाया जाता है, लेकिन अभी तक ग्रामीणों की इस समस्या निजात नहीं मिली है. अब पंचायत चुनाव आते ही कैलाश नदी पर पुल बनाने का मुद्दा फिर गर्मा गया है. हालांकि दावा किया जा रहा है कि पुल निर्माण के लिए 14 करोड़ रुपये का बजट स्वीकृत हो चुका है.
ग्रामीणों ने मांग, कैलाश नदी पर बने स्थायी पुल
यूपी के बरेली में कैलाश नदी पर ग्रामीणों को लकड़ी की पुल से जान जोखिम में डालकर गुजरना पड़ता है. ग्रामीण कई वर्षों से पुल निर्माण कराने की मांग जनप्रतिनिधियों के साथ प्रशासनिक अधिकारियों को लगा चुके हैं.
ग्रामीण वर्षों से करते आ रहे पुल की मांग
दर्जनों गांव के लोग कैलाश नदी पर पुल बनाने की मांग वर्षों से करते आ रहे हैं. अभी तक ग्रामीणों को नदी पार करने के लिए लकड़ी के पुल से अपनी जान जोखिम में डालकर गुजरना पड़ता था. बरसात में जब नदी उफान पर होती तो नाव से नदी पार करने में जान का खतरा बना रहता था. इस पुल से मुड़िया चौधरी, परसरामपुर, गुलड़िया लेखराज, क्योलड़िया समेत दर्जनों गांव के ग्रामीण आते-जाते हैं.
स्थानीय लोगों ने शुरू की मुहिम
कैलाश नदी पर पुल निर्माण के लिए ग्रामीण जनप्रतिनिधियों से वर्षों से गुहार लगा रहे थे. लेकिन कभी भी मजबूत पैरवी नहीं होने के चलते पुल को मंजूरी नहीं मिल पा रही थी. इसके बाद जिला पंचायत सदस्य शशि कपूर और गांव के प्रधान रमेश कन्नौजिया समेत सैकड़ों लोगों ने विधायक केसर सिंह से लेकर सेतु निगम तक पैरवी की.