बाराबंकी:इन दिनों नगर पालिका एनआरसी को लेकर एक सर्वे करा रही है. जिसमें अस्थाई रूप से झुग्गी-झोपड़ी बनाकर रह रहे लोगों के आंकड़े जुटाए जा रहे हैं. आंकड़ों में इस बात का ध्यान रखा जा रहा है कि झोपड़ियों में रहने वाले लोग कहां के निवासी हैं और कितने लोग यहां रह रहे हैं. उनका आधार कार्ड और वोटर आईडी भी चेक किया जा रहा है. इन बिंदुओं पर रिपोर्ट तैयार करने के बाद इसे अधिशासी अधिकारी और चेयरमैन को सौंपी जाएगी.
एनआरसी को लेकर नगर पालिका की पड़ताल शुरू खास बातें-
- एनआरसी को लेकर नगर पालिका ने शहर के आस-पास अस्थायी झुग्गी-झोपड़ी की जानकारी ली है.
- साथ ही अस्थाई रूप से झुग्गी-झोपड़ी बनाकर रह रहे लोगों के आंकड़े जुटाए जा रहे हैं.
- आंकड़ों में इस बात का ध्यान रखा जा रहा है कि झोपड़ियों में रहने वाले लोग कहां के निवासी हैं.
- आधार कार्ड, वोटर आईडी चेक करने के साथ ही वह क्या काम करते हैं इन बातों पर ध्यान दिया जा रहा है.
- इन बिंदुओं पर रिपोर्ट तैयार करने के बाद इसे अधिशासी अधिकारी और चेयरमैन को सौंपी जाएगी.
एनआरसी को लेकर नगर पालिका प्रशासन सख्त-
अस्थायी झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले लोगों की जानकारी कर शासन स्तर पर भेजा जाएगा. नगर पालिका द्वारा एनआरसी के तर्ज पर बाहरी प्रदेशों के अब तक कुल लगभग 200 लोगों को चिन्हित किया जा चुका है.
झोपड़ी में रहने वाले लोगों ने बताया-
नगर पालिका क्षेत्र में झुग्गी-झोपड़ियां बनाकर रहने वाले कुछ लोगों ने बताया कि वह असम से आकर वह यहां रहते हैं, जिनके बारे में नगरपालिका के अधिकारियों के द्वारा जानकारी ली गई. उनका कहना है कि हम लोग 15 सालों से यहां लावारिस लाशों को दफनाने के लिए बने कब्रगाह के पास रहते हैं और कूड़ा बीनने का काम करते हैं. हम करीब अब 15 परिवार यहां मौजूद हैं, जिसमें 25 बच्चे हैं और इनमें से कुछ बच्चे ही स्कूल जाते हैं.
इस प्रकार का सर्वे करके हम लोग आंकड़ा जुटा रहे हैं. झुग्गी- झोपड़ियों में रहने वाले लोग कहां के निवासी है, कितने सालों से रह रहे हैं और काम क्या करते हैं. जिसकी रिपोर्ट हम पूरी तरीके से तैयार करके अधिशासी अधिकारी और चेयरमैन को उपलब्ध कराएंगे. क्योंकि यह जिम्मेदारी चेयरमैन और अधिशासी अधिकारी द्वारा मुझे दी गई है.
-पल्लवी अस्थाना, रेवेन्यू इंस्पेक्टर