बाराबंकी: खेती की आधुनिक और नई तकनीकें सीखने 30 किसानों का एक दल पंतनगर जाएगा. शासन की मंशा है कि किसान आधुनिक तकनीकों से खेती करें ताकि उनकी आय बढ़ सके. तीन दिवसीय इस प्रशिक्षण में किसानों को खेती की नई-नई विधाओं से रूबरू कराया जाएगा. कृषि विभाग ने इसके लिए किसानों का चयन शुरू कर दिया है.
SMAE पहले आत्मा योजना के नाम से जानी जाती थी. SMAE योजना के तहत होगा प्रशिक्षण कृषि विभाग द्वारा चलाई जा रही योजना "द सबमिशन ऑन एग्रीकल्चर एक्सटेंशन" यानी SMAE जो पहले "आत्मा" योजना के नाम से जानी जाती थी. इस योजना के तहत हर वर्ष जिले के अग्रणी और प्रगतिशील किसानों का चयन कर उन्हें देश के विभिन्न संस्थानों और एग्रीकल्चर रिसर्च इंस्टीट्यूट में खेती की आधुनिक तकनीकों के प्रशिक्षण के लिए भेजा जाता है. वहां जाकर किसान बहुत कुछ सीखते हैं. साथ ही उनका एक्सपोजर विजिट होता है. वहां से सीखकर किसान अपने यहां उस सिस्टम को अपनाकर खेती करते हैं, जिससे उनकी आय बढ़ती है.
2019 में महाराष्ट्र के जलगांव गया था एक दल
पिछले वर्ष एक दल महाराष्ट्र के जलगांव गया था, जहां किसानों ने सोलर फोटो वोल्टेक पम्पसेट से खेतों की सिंचाई, ड्रिप और स्प्रिंकलर सिस्टम से सिंचाई के तौर तरीके सीखे थे. वहां से लौटकर आये कई किसानों ने ड्रिप और स्प्रिंकलर विधि का प्रयोग शुरू किया है.
कोविड के चलते पिछले वर्ष नहीं हो सका टूर
वर्ष 2020 में कोविड के चलते किसी भी संस्थान ने प्रशिक्षण की अनुमति नहीं दी. लिहाजा किसानों का दल जा नहीं पाया. अब विभाग ने प्रयास किया तो पंतनगर एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी ने अपने यहां प्रशिक्षण की अनुमति दी. उसी के तहत जिले के 30 किसानों का दल 24 जनवरी को पंतनगर जाएगा.
किसानों का किया जा रहा चयन
जिले के सभी 15 ब्लॉकों से दो-दो किसानों का चयन किया जाएगा. बीटीएम यानी ब्लॉक टेक्नोलॉजी मैनेजर के द्वारा इनका चयन किया जाएगा. किसानों के इस दल के हर सदस्य को पंतनगर रवाना होने के दो दिन पहले अपनी कोविड जांच करानी होगी. ब्लॉक लेवल पर चयन होने के बाद जिलास्तरीय टीम इन किसानों की जांच-पड़ताल करेगी और फाइनल चयन होगा.