बाराबंकी: यूपी के बाराबंकी में पिछले काफी समय से हो रहे अवैध खनन में पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है. पुलिस ने अवैध खनन में लिप्त एक संगठित गिरोह के सरगना सहित चार सदस्यों को गिरफ्तार कर गिरोह के सभी आठ सदस्यों पर गैंगस्टर का मुकदमा दर्ज किया है. शुक्रवार को पकड़े गए अभियुक्तों में गिरोह का सरगना बीती 21 अगस्त को भी गिरफ्तार किया गया था, लेकिन इसको जमानत मिल गई थी. गैंगस्टर का मुकदमा दर्ज होने के बाद पुलिस अब इनकी सम्पत्ति की जब्तीकरण की कार्रवाई में जुट गई है.
पिछले काफी समय से जिले में मिट्टी के अवैध खनन की मिल रही सूचना पर पुलिस कप्तान ने एक विशेष टीम गठित कर कार्रवाई के निर्देश दिए थे. यहां के सतरिख थाना क्षेत्र के दाऊदपुर गांव में बड़े पैमाने पर अवैध मिट्टी का खनन होने की सूचना पर जिलाधिकारी के साथ पुलिस अधीक्षक ने स्थलीय निरीक्षण किया था, तो अवैध खनन होना पाया गया. मौके पर दो जेसीबी और 6 डंपर बरामद किए गए थे. मौके पर बरामद अवैध खनन के लिए प्रयोग में लाई जा रही जेसीबी और डंपर स्वामियों के बारे में पता करने पर टीम को जानकारी मिली कि यह कोतवाली नगर के भूहेरा गांव के विनोद यादव के हैं, जो बाराबंकी का एक बड़ा खनन माफिया है.
21 अगस्त को साथियों संग गिरफ्तार हुआ था सरगना
पुलिस ने बीती 21 अगस्त को विनोद यादव उसके भाई राजकुमार, सतरिख थाना क्षेत्र के नरायनपुरवा निवासी पंकज यादव, कोठी थाना क्षेत्र के महरूपुर निवासी पंकज वर्मा और उसी गांव के दीपक वर्मा को सतरिख थाने की पुलिस ने गिरफ्तार किया था.
दबंग है गिरोह का सरगना
पुलिस के मुताबिक विनोद की जुग्गौर चिनहट में एक फर्म है. जो लोगों को मिट्टी सप्लाई करती है. इसी फर्म की आड़ में यह अवैध मिट्टी का खनन करता है. दबंग होने के चलते लोग इसके खिलाफ मुंह नहीं खोल रहे थे. यहां तक कि तमाम पुलिस वालों की जानकारी में यह धड़ल्ले से अपने कारोबार को अंजाम दे रहा था. हैरानी की बात तो यह है कि अपनी ऊंची पहुंच के चलते ये बचता आ रहा था. सतरिख थाना क्षेत्र में धड़ल्ले से खनन चल रहा था, लेकिन थानाध्यक्ष इससे अनजान बने रहे. इसे गम्भीरता से लेते हुए पुलिस कप्तान ने थानाध्यक्ष को लाइनहाजिर कर दिया था. साथ ही बीट के चार सिपाहियों को निलंबित कर दिया था.