बलिया:जनपद में प्रवासी मजदूरों का आना जारी है. मजदूरों को उनके गंतव्य तक पहुंचाने के लिए रोडवेज की बसें लगातार सेवा में तत्पर हैं. वहीं रोडवेज में काम करने वाले चालक व परिचालक खुद को असहज महसूस कर रहे हैं. इन बसों के ड्राइवरों का कहना है कि मजदूरों को उनके गृह जनपद पहुंचाने में उन्हें डर लग रहा है.
बलिया: प्रवासी मजदूरों ने बढ़ाई परिवहन विभाग के चालक और परिचालकों की चिंता
बलिया जनपद में प्रवासी मजदूरों का आना लागातार जारी है. इनको घर तक पहुंचाने के लिए परिवहन विभाग की बसों को लगाया गया है. बसों के चालक-परिचालकों का कहना है कि अब डर लगता है कि इतनी अधिक संख्या में मजदूर बाहर से आ रहे हैं, कहीं कोरोना का कहर पूरे प्रदेश में तेजी से न फैल जाए.
जनपद में पिछले 2 दिनों में दो श्रमिक स्पेशल ट्रेन 2400 से अधिक मजदूरों को लेकर बलिया रेलवे स्टेशन पहुंची. इन श्रमिकों में यहां के अलावा पूर्वांचल के कई जिलों के मजदूर शामिल हैं. प्रवासी मजदूरों की स्कैनिंग की जा रही है. इसके बाद रोडवेज बस के माध्यम से मजदूरों को उनके गृह जनपद पहुंचाया जा रहा है.
परिवहन विभाग की 75 बसों का किया जा रहा प्रयोग
जिला प्रशासन की तरफ से इन मजदूरों को घर पहुंचाने के लिए उत्तर प्रदेश परिवहन निगम की 75 बसों का प्रयोग किया जा रहा है. जिनमें से 40 बस बलिया डिपो, 30 बस बेल्थरा रोड डिपो, दो बस आजमगढ़ और 3 बस अंबेडकर नगर डिपो से हैं. रोडवेज बस के ड्राइवर संदीप वर्मा ने बताया कि प्रवासी मजदूरों को उनके घर पहुंचाने का काम हम लोग कर रहे हैं, लेकिन अभी तक विभाग की तरफ से सभी लोगों को मास्क, हैंड ग्लव्स और सैनिटराजर उपलब्ध नहीं कराया गया. हम लोग अपने पैसे से इन चीजों की खरीद कर अपनी सुरक्षा कर रहे हैं.
प्रवासी मजदूरों को बलिया से बलरामपुर, गोंडा, बहराइच, फतेहपुर, कानपुर तक पहुंचाया जा रहा है. रोडवेज बस के कर्मचारी जिला प्रशासन के आदेश पर बसों के संचालन में लगे हैं. ड्राइवर अश्वनी गुप्ता ने कहा कि गुजरात और महाराष्ट्र में कोरोना के मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है. प्रवासी मजदूर भी गुजरात से ही यूपी में आ रहे हैं, इससे अब डर लग रहा है, कहीं यह वायरस उत्तर प्रदेश में भी तेजी से न फैल जाए.