बदायूंः सरकार की नमामि गंगे योजना से अब गंगा से सटे गावों के किसानों को भी लाभ होगा. इस योजना के तहत जिले के 41 गांवों में अमरूद के बाग लगाए जाएंगे. बाग लगाने पर प्रति हेक्टेयर तीन हजार रुपये का अनुदान भी किसानों को प्रति माह तीन साल तक दिया जाएगा. इस तरह से किसानों को प्रति हेक्टेयर 36 हजार रुपये का सालाना लाभ हो सकेगा.
अमरूद से महकेंगे गंगा किनारे के गांव. गंगा किनारे चल रहे हैं और भी काम
सोमवार से गंगा यात्रा का शुभारंभ होने जा रहा है. प्रदेश की सरकारी मशीनरी का रुख भी इस समय गंगा किनारे बसे हुए गांव की ओर है. इसके लिए जिले में प्रशासन व्यापक स्तर पर तैयारियों में लगा हुआ है. गंगा किनारे बसे गांव के लिए शुरू की गई योजनाओं पर भी क्रियान्वयन बहुत तेजी के साथ हो रहा है. नमामि गंगे योजना के तहत गंगा किनारे के 41 गांवों का चयन अमरूद के बाग लगाने के लिए किया गया है.
गंगा किनारे की जमीन अमरूद के लिए है मुफीद
अमरूद के बाग लगाने वाले किसानों को प्रति हेक्टेयर तीन हजार रुपये का प्रतिमाह सरकार द्वारा अनुदान भी दिया जाएगा. यह अनुदान किसान को 36 माह तक अमरूद की बगिया के रखरखाव हेतु दिया जाएगा. इससे किसानों की आय में वृद्धि होगी. वहीं गंगा किनारे की जमीन अमरूद के पेड़ों के लिये मुफीद मानी जाती है.
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100 हेक्टेयर की योजना
जिला उद्यान अधिकारी मुकेश कुमार का कहना है कि नमामि गंगे योजना के अंतर्गत 41 चयनित गांव हैं. उन्होंने उन गांवों के लिए अमरूद बाग रोपण की योजना बनाई है. इस योजना के अंतर्गत प्रत्येक किसान को प्रति हेक्टेयर तीन हजार रुपये प्रति माह का अनुदान देंगे. यह अनुदान किसान को 36 माह तक दिया जाएगा. यह रकम बाग की देखभाल के लिए किसान को दी जाएगी. मुकेश कुमार ने बताया कि अभी 100 हेक्टेयर का कार्यक्रम बनाया गया है. कटरी की गंगा किनारे की जमीन अमरूद के बाग के लिए मुफीद है. भविष्य में कभी पानी बढ़ता है तो अमरूद उसको सहन भी कर लेता है और उसको नुकसान नहीं होता है.