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कुंटू सिंह के कॉलेज के छात्र पहुंचे DM दरबार, किया आनोखा प्रदर्शन

आजमगढ़ जिले में माफिया कुंटू सिंह के दो शिक्षण संस्थानों को गिराने के लिए दूसरी बार देऊपुर कमालपुर स्थित गिरजा शंकर स्मृति महाविद्यालय और रुद्र प्रताप पॉलिटेक्निक कॉलेज पर नोटिस चस्पा कर दिया गया है. वहीं इन विद्यालयों में पढ़ने वाले छात्रों की परीक्षा होने वाली है. मंगलवार को छात्रों ने जिलाधिकारी कार्यालय के सामने प्रदर्शन किया.

कुंटू सिंह के कॉलेज के छात्रों ने किया प्रदर्शन.
कुंटू सिंह के कॉलेज के छात्रों ने किया प्रदर्शन.

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Published : Feb 3, 2021, 4:53 PM IST

आजमगढ़: माफिया ध्रुव सिंह उर्फ कुंटू सिंह के दो शिक्षण संस्थानों को ध्वस्त किये जाने की नोटिस के बाद हड़कंप मचा हुआ है. मंगलवार को दूसरी बार कॉलेज के छात्रों ने डीएम कार्यालय पर अनोखे अंदाज में प्रदर्शन किया. इस बार छात्रों ने डीएम कार्यालय के सामने पढ़ाई शुरू कर दी. बता दें कि इससे पहले छात्रों ने अधिकारियों के बूट पॉलिश किये थे.

छात्रों की मांग है कि परीक्षाएं शुरू होने जा रही हैं, लेकिन विश्वविद्यालय से संबंधित उनका कोई भी कार्य नहीं हुआ है. प्रशासन सिर्फ विद्यालय को गिराने की नोटिस पर नोटिस दे रहा है, लेकिन उनके भविष्य के बारे में एक बार भी नहीं सोच रहा है. छात्रों ने मांग की है कि परीक्षा से पूर्व उनके लिए कोई वैकल्पिक विद्यालय या महाविद्यालय में उनके कागजात को जमा कराने की व्यवस्था की जाए.

अजित सिंह हत्याकांड के बाद हुई सख्ती
बतातें चलें कि लखनऊ में हुई ब्लॉक प्रमुख प्रतिनिधि अजीत सिंह की हत्या के बाद माफिया कुंटू सिंह के आर्थिक सम्राज्य को तोड़ने के लिए जिला प्रशासन लगातार कार्रवाई कर रहा है. कुंटू सिंह के दो शिक्षण संस्थानों को गिराने के लिए जिला पंचायत की तरफ से दूसरी बार देऊपुर कमालपुर स्थित गिरजा शंकर स्मृति महाविद्यालय और रुद्र प्रताप पॉलिटेक्निक कॉलेज पर नोटिस चस्पा कर दिया गया है. दोनों विद्यालयों के छात्रों की समस्या यह है कि उनकी परीक्षा 22 फरवरी से होनी है. विश्वविद्यालय की साइट पर छात्रों के डाटा व कुछ अन्य कागजात फीड नहीं हुए हैं, जिससे छात्र परेशान हैं.

पूर्व में अधिकारियों का बूट पॉलिश किये थे छात्र
इसी को लेकर चार दिन पूर्व छात्रों ने जहां अधिकारियों का बूट पॉलिश किया तो वहीं अब डीएम कार्यालय के सामने पढ़ाई शुरू कर दी. छात्रों की मांग है कि पहली बार विरोध प्रदर्शन के दौरान अधिकारियों ने आश्वासन दिया था कि उनके भविष्य को खराब नहीं होने दिया जाएगा, लेकिन चार दिन बाद भी कोई अधिकारी इस दिशा में कठोर कदम नहीं उठा रहा है. छात्रों का कहना है कि अगर विश्वविद्यालय की साइट बंद हो गई तो वे परीक्षा से वंछित रह जाएंगे. इसके लिए प्रशासन उनके लिए कोई वैकल्पिक व्यवस्था करे.

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