आजमगढ़: जिले के फूलपुर कोतवाली क्षेत्र के अंबारी में दंपति का शव मिलने से लोगो में आक्रोश का शव मिलने के बाद जहां एक तरफ लोगों में गुस्सा दिख रहा है. वहीं, लोग इस घटना के लिए पुलिस को जिम्मेदार मान रहे है. परिजनों का आरोप है कि, दंपति का शव मिलने से लोगो में आक्रोश के गायब होने के बाद ही उन्होंने भूमि विवाद में अपहरण का अंदेशा जताते हुए तीन लोगों के खिलाफ थाने में तहरीर दी थी. लेकिन, पुलिस ने घटना के चौबीस घंटे बीत जाने के बाद तक मुकदमा दर्ज किया जब एसपी ने इस सबंध में आदेश दिया. आरोप है कि, यदि पुलिस तत्काल कार्रवाई करती तो उन्हें बचाया जा सकता था. बहरहाल, पुलिस तीनों नामजद आरोपियों की तलाश में जुटी है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार, अहरौला थाना क्षेत्र के पारा गांव निवासी इंद्रपाल मौर्य मंगलवार को अपनी पत्नी शकुंतला मौर्य के साथ बाइक से शाहगंज दवा लेने के लिए गए थे. दवा लेने के बाद लगभग तीन बजे उन्होंने घर फोन कर बताया कि, वे घर के लिए निकल रहे हैं. देर शाम तक जब वह घर नहीं पहुंचे तो परिजनों ने उनके मोबाइल पर संपर्क करना शुरू किया. काफी प्रयास के बाद रात 9.45 बजे फोन उठा तो इंद्रपाल ने बस इतना ही कहा कि वह बड़ी मुसीबत में है. इसके बाद फोन कट गया. परिजन अनहोनी की आशंका में तहरीर लेकर अहरौला थाने पहुंचे तो, एसओ ने मुकदमा दर्ज नहीं किया. इसके बाद इंद्रपाल के भतीजे प्रदीप कुमार मौर्य ने आजमगढ़ पुलिस अधीक्षक अनुराग आर्या से इस बारे में शिकायत की. तब कहीं जकर 24 घंटे बाद मुकदमा दर्ज हुआ.