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तपस्वी छावनी की गद्दी के लिए 12 अगस्त को संतों के दो गुट करेंगे कार्यक्रम, प्रशासन से मांगी सुरक्षा

अयोध्या की प्रसिद्ध तपस्वी छावनी पीठ की गद्दी पर कब्जाने के लिए संतों को दो गुटों में विवाद चल रहा है. संतों का एक गुट परमहंस दास को समर्थन कर रहा है, तो वहीं दूसरा गुट महंत दिलीप दास के समर्थन में है. इन दोनों गुटों का 12 सितंबर को एक महंती कार्यक्रम होना है, इस कार्यक्रम की सुरक्षा व्यवस्था के लिए संतों ने डीआईजी व डीएम से मुलाकात की है.

संतों ने डीआईजी व डीएम से मांगी सुरक्षा
संतों ने डीआईजी व डीएम से मांगी सुरक्षा

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Published : Sep 8, 2022, 5:00 PM IST

अयोध्या: धर्म नगरी की प्रसिद्ध पीठ तपस्वी छावनी(Tapasvi chhaavani dispute) के उत्तराधिकार और महंती विवाद दिनोंदिन बढ़ता जा रहा है. तपस्वी छावनी पीठ की गद्दी के लिए संतों के दो गुट आमने-सामने हैं. अभी दो दिन पहले ही संतो के एक गुट ने अहमदाबाद के जगन्नाथ मंदिर के महंत दिलीप दास को मंदिर का महंत घोषित करते हुए महंती कार्यक्रम में पुलिस सुरक्षा मुहैया कराने के लिए डीआईजी से मुलाकात की थी. इसके बाद उसी दिन दूसरे गुट के महंत जगत गुरु परमहंस आचार्य ने महंत होने का दावा किया था. उन्होंने खुद को महंत बताते हुए मीडिया के सामने साक्ष्य प्रस्तुत किए थे. परमहंस आचार्य ने कोर्ट जाकर न्याय की गुहार लगाने की बात कही थी.

वहीं, अब अयोध्या की प्रसिद्ध सिद्धपीठ हनुमानगढ़ी(Hanumangarhi Temple Ayodhya) के नागा साधुओं ने जगतगुरु परमहंस आचार्य को इस पीठ का महंत बताते हुए उनकी महंती कार्यक्रम में सुरक्षा मुहैया कराने की मांग डीआईजी और डीएम से की है. बड़ी बात यह है कि 12 सितंबर को ही दोनों पक्षों ने महंती कार्यक्रम की घोषणा कर दी है. ऐसे में अब जिला प्रशासन के सामने 12 सितंबर की तारीख अग्निपरीक्षा से कम नहीं होगी. जब अयोध्या में साधु-संतों के 2 गुट एक कार्यक्रम को लेकर आमने-सामने हैं.

जानकारी देते महंत

इस विवाद की वजह यह है कि हनुमानगढ़ी के नागा साधु महंत दिलीप दास को बाहरी मानते हैं, जो उन्हें स्वीकार नहीं हैं. 12 सितंबर को परमहंस के नए महंत के लिए कंठी चादर और भंडारा होना है. वहीं, 12 सितंबर को ही दूसरे पक्ष जगन्नाथ मंदिर अहमदाबाद के दिलीप दास की भी कंठी चादर होनी है. तपस्वी छावनी के महंती के लिए अयोध्या में संतों के गुट में दो फाड़ हो गया है. एक गुट हनुमानगढ़ी का है, वह परमहंस के समर्थन में है. दूसरे गुट का नेतृत्व राम वल्लभा कुंज के अधिकारी राजकुमार दास कर रहे हैं. यह अहमदाबाद के जगन्नाथ मंदिर के महंत दिलीप दास का गुट है.

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