अयोध्या: भगवान राम की जन्मस्थली पर मंदिर निर्माण के साथ जन्मभूमि परिसर के समग्र विकास का मास्टर प्लान तैयार हो चुका है. इस प्लान पर कार्य करने से पहले देशवासियों से सुझाव मांगे हैं. ट्रस्ट का कहना है कि अयोध्या में बनने वाला राम मंदिर करोड़ों भारतवासियों की आस्था का विषय है. ऐसे में रामलला के भवन के साथ मंदिर परिसर को अद्भुत रूप देना है. मास्टर प्लान तैयार हो चुका है, लेकिन कोई कमी न रह जाए. इसके लिए देश के सभी वरिष्ठ वास्तुविदों, धर्माचार्यों और अन्य देशवासियों से के सुझाव आवश्यक हैं.
जानकारी देते ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष. राम मंदिर निर्माण समिति की बैठक में मंदिर निर्माण के साथ राम जन्मभूमि परिसर के विकास पर अंतिम रूप से निर्णय लिया जा चुका है. इसका प्रोजेक्ट फाइनल हो चुका है. मास्टर प्लान पर इंजीनियरों के साथ बैठक कर ट्रस्ट के पदाधिकारियों ने चर्चा की है. भव्य मंदिर के साथ भव्य परिसर हो इसके लिए मास्टर प्लान तैयार किया गया है. इस प्लान पर कार्य शुरू करने से पहले ट्रस्ट भारत के सभी वरिष्ठ वास्तुविदों आर्किटेक्ट और देशवासियों धर्म आचार्यों से सुझाव ले रहा है. इसके लिए ट्रस्ट ने विज्ञापन जारी कर दिया है.
देशवासी ट्रस्ट को सीधे भेज सकेंगे अपने सुझाव
राम जन्मभूमि परिसर कि 70 एकड़ भूमि के डेवलपमेंट के लिए राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने देश भर के आर्किटेक्ट, इंजीनियर और डिजाइनर से सुझाव मांगा है. 25 नवंबर तक सभी सुझाव देने वाले आर्किटेक्ट इंजीनियर और डिजाइनरों को राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट द्वारा दी गई मेल और वेबसाइट पर अपना प्रपोजल भेजना है. aida.rjbayodhya@gmail.com , design@tce.co.in पर अपना प्रपोजल भेजना है. इसके लिए राम जन्म भूमि ट्रस्ट ने अपनी अधिकृत वेबसाइट पर एक विज्ञापन भी निकाला है. हाल ही में हुए राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट और राम मंदिर निर्माण समिति की बैठक में तय हुआ था कि देशभर के आर्किटेक्ट, इंजीनियर और डिजाइनरों से 70 एकड़ भूमि के डेवलपमेंट को लेकर उनके सुझाव मांगे जाएंगे.
ट्रस्ट के पदाधिकारियों ने पहले भी दिए थे इसके संकेत
राम मंदिर निर्माण समिति की बैठक संपन्न होने के बाद ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देव गिरी जी महाराज ने स्पष्ट किया था कि राम मंदिर परिसर के विकास के प्रोजेक्ट को फाइनल करने से पहले देशभर के वरिष्ठ संतो वास्तुविदों से सुझाव मांगे जाएंगे. उनके सुझाव के आधार पर परिसर के विकास को लेकर निर्णय लिया जाएगा. वहीं राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने मंदिर निर्माण समिति में शामिल इंजीनियर आर्किटेक्ट और ट्रस्ट के सदस्यों की टीम को एक बिल संसद बताया. उन्होंने कहा कि बहुप्रतीक्षित राम मंदिर निर्माण को लेकर कोई कमी न रह जाए विषय पर हर प्रकार के विशेषज्ञों से खुलकर चर्चा हुई. चंपत राय ने कहा कि राम मंदिर निर्माण में किसी प्रकार की कोई कमी न रह जाए. इसके लिए आगे भी वरिष्ठ जनों और अनुभवी लोगों से सुझाव लिए जाएंगे.