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अयोध्या में कोरोना ने ज्यादा चोट पहुंचाई, अब तक 108 की गई जान

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Published : Dec 12, 2020, 2:13 PM IST

अयोध्या मंडल के 5 जिलों में सर्वाधिक मौतें अयोध्या जनपद में हुई हैं. आंकड़ों पर नजर डालें तो पूरे प्रदेश में कोरोना से मरने वाले लोगों की संख्या में अयोध्या का 13 वां स्थान है.

अयोध्या में कोरोना संक्रमण से मौत
अयोध्या में कोरोना संक्रमण से मौत

अयोध्याःबीते एक साल मेंकोरोना संक्रमण ने जहां पूरी दुनिया में भारी तबाही मचाई है, वहीं भारत में भी इस जानलेवा वायरस की चपेट में आकर बड़े पैमाने पर लोगों की जान गई है. प्रदेश में जनसंख्या के आधार पर सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश में भी वायरस ने जमकर कहर बरपाया है. बड़े पैमाने पर उत्तर प्रदेश में भी कोरोना संक्रमण के शिकार होकर लोगों ने अपनी जान गवाई है.

वहीं प्रदेश के बेहद अहम मंडल अयोध्या में भी कोरोना वायरस का बेहद जानलेवा प्रभाव रहा है. अयोध्या मंडल के 5 जिलों में सर्वाधिक मौतें अयोध्या जनपद में हुई हैं. आंकड़ों पर नजर डालें तो पूरे प्रदेश में कोरोना से मरने वाले लोगों की संख्या में अयोध्या का 13 वां स्थान है. मंडल में कुल 350 लोगों की अब तक कोरोना से जान जा चुकी है, जिनमें अकेले 108 लोगों की मौत अयोध्या जिले में हुई है.

दिसंबर से मार्च के बीच कोरोना की सेकंड वेब से है खतरा

कोरोना संक्रमण से मरने वालों की मौत के आंकड़े देखकर अयोध्या जिला प्रशासन बेहद सतर्क है. लगातार खराब हो रहे मौसम बढ़ती ठंड के बीच दिसंबर से लेकर मार्च तक के महीने में कोरोना की सेकंड वेब का खतरा देखते हुए जिला प्रशासन बेहद सतर्कता बरत रहा है. अयोध्या मंडल के 5 जिलों में सर्वाधिक 108 मौतें अयोध्या जिले में ही हुई हैं. जबकि यहां कुल मरीजों की संख्या अभी तक लगभग 7600 रही है, बाराबंकी में 7510 मरीजों के बीच 94 लोगों ने अपनी जान गवाई है. सुल्तानपुर में 4502 मरीजों में 74 की जान गई है. अंबेडकर नगर में 1810 मरीजों में 40 की जान गई है और अमेठी में 3401 मरीज में 34 की जान गई है.

मरने वालों में पहले से गम्भीर बीमारियों के शिकार ज्यादा

कोरोना संक्रमण से मरने वाले लोगों में सर्वाधिक संख्या उनकी है. जिन्हें हाई ब्लड प्रेशर, कैंसर, टीबी, शुगर जैसी बीमारियां थी. इसके अलावा तमाम ऐसे लोगों ने भी अपनी जान गंवाई है. जिन्होंने इस बीमारी को लेकर लापरवाही बरती. इस बीमारी के संकेत शरीर में दिखाई देने पर भी उन्होंने समय से अपना टेस्ट नहीं कराया और खुद को आइसोलेट नहीं किया. जिसके कारण न सिर्फ वो खुद अपने लिए खतरा बन गए बल्कि उन्होंने और लोगों में भी इस गंभीर बीमारी का संक्रमण फैलाया.


जिले में कोरोना संक्रमण नियंत्रण में

इस गंभीर बीमारी को देखते हुए फिलहाल वर्तमान में राहत की बात यह है कि बढ़ती ठंड के साथ जिस तरह से कोरोना संक्रमण के आंकड़ों की बढ़ने की आशंका जताई गई थी उस तरह की दर्दनाक और डरा देने वाली तस्वीर सामने नहीं आई है. जिले में और मंडल में कोरोनावायरस से रोजाना संक्रमण के शिकार लोगों की संख्या 10 से लेकर 20 के बीच ही है. वहीं इस बीमारी को हराने वाले लोगों की संख्या भी इतनी ही आ रही है जिसके कारण अब जिले में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या 100 के आस-पास ही रह गई है.

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