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अमेठी में सपा को लग सकता है बड़ा झटका, बागी बिगाड़ सकते हैं चुनावी समीकरण

यूपी विधानसभा चुनाव 2022 के टिकट की घोषणा होते ही समाजवादी पार्टी में विरोध के स्वर मुखर होने लगे हैं. जगदीशपुर गौरीगंज के बाद अब अमेठी में भी सपा दो भागों में बंट गई है. समाजवादी पार्टी के नेता सुनील यादव ने पार्टी में तवज्जो न मिलने और उपेक्षा का आरोप लगाते हुए निर्दल प्रत्याशी के रूप में चुनावी मैदान में कूद गए हैं. गौरतलब है कि समाजवादी पार्टी के बागी यहां चुनावी समीकरण बिगाड़ सकते हैं.

अमेठी में सपा को लग सकता है बड़ा झटका
अमेठी में सपा को लग सकता है बड़ा झटका

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Published : Jan 29, 2022, 9:41 AM IST

अमेठी:यूपी विधानसभा चुनाव 2022 को लेकर समाजवादी पार्टी में टिकट की घोषणा के साथ-साथ विरोध के सुर भी मुखर होने लगे हैं. समाजवादी पार्टी ने जिले की चारों विधानसभा सीटों पर टिकट की घोषणा कर दी है. अधिकारिक रूप से सूची जारी होते ही समाजवादी पार्टी की अंदरूनी कलह उभर कर सामने आ गई. समाजवादी पार्टी अमेठी विधानसभा सीट से गैंगरेप के मामले उम्र कैद की सजा काट रहे पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति की पत्नी महाराज जी देवी के ऊपर दांव लगाया है. वहीं गौरीगंज विधानसभा सीट से 2 बार के विधायक रहे राकेश प्रताप सिंह के ऊपर विश्वास जताया है.

जानकारी देते सपा के बागी सुनील यादव.

जगदीशपुर सुरक्षित विधानसभा सीट से सपा ने रचना कोरी को उम्मीदवार बनाया है. वहीं, मुस्लिम बाहुल्य वाली तिलोई विधानसभा सीट से समाजवादी पार्टी ने मो.नईम को प्रत्याशी बनाया है. मो. नईम कांग्रेस पार्टी को छोड़कर साइकिल की सवारी कर रहे हैं. जगदीशपुर विधानसभा क्षेत्र से सपा ने रचना कोरी को प्रत्याशी बनाया है. प्रत्याशी की घोषणा होते ही पार्टी में गुटबाजी खुलकर सामने आ गई. डॉक्टर अजय पासी के समर्थकों में आक्रोश दिखाई देने लगा. घोषित प्रत्याशी को लेकर जगदीशपुर के हलियापुर में रचना कोरी का पुतला फूंक कर विरोध प्रदर्शन किया था. जहां कार्यकर्ताओं ने डॉ. अजय पासी के समर्थन में नारे लगाए. उनके द्वारा लगातार क्षेत्र में किया जा रहे जनसंपर्क को सफल बताया. वहीं कार्यकर्ताओं ने समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव से प्रत्याशी बदले जाने की मांग की है. अमेठी जिले के जगदीशपुर विधानसभा में भाजपा को इस बार अपनी सीट बचाने की चुनौती है. वहां कांग्रेस ने अपना घर वापस पाने के लिए विजय पासी को प्रत्याशी बनाया है. इस सीट पर 2017 में भाजपा ने कांग्रेस के किले को ढहा दिया था.

गौरीगंज विधानसभा सीट से समाजवादी पार्टी ने राकेश प्रताप सिंह को टिकट देकर चुनावी मैदान में भेजा है. राकेश प्रताप सिंह वर्ष 2012 और 2017 में विधायक निर्वाचित हुए थे. समाजवादी पार्टी का एक धड़ा टिकट घोषणा होते ही इनके विरोध में उतर आया. सैकड़ों कार्यकर्ता लखनऊ कार्यालय जाकर विरोध जताए. फिलहाल गौरीगंज से अभी तक कोई बागी चुनावी मैदान में नहीं आया है. वहीं अमेठी विधानसभा में समाजवादी पार्टी ने पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति की पत्नी महाराज जी देवी को टिकट दिया है.

जहां समाजवादी पार्टी के पुराने नेता सुनील यादव ने पार्टी पर उपेक्षा का आरोप लगाते हुए निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने की घोषणा कर दी है. सुनील यादव 3 बार जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ चुके हैं. जिसमें एक बार जिला पंचायत सदस्य का चुनाव में जीत दर्ज किया है. वहीं, पिछले पंचायत चुनाव में बहुत कम वोटों से जिला पंचायत का चुनाव हार गए थे. समाजवादी पार्टी के बागियों से समाजवादी पार्टी को नुकसान पहुंच सकता है. सुनील यादव जाति के नेता के तौर पर क्षेत्र में सक्रिय रहते हैं यदि यदि यादव समाज के लोग सुनील यादव के साथ खड़े हो जाते हैं तो समाजवादी पार्टी को यहां झटका लग सकता है.

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