अलीगढ़: अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में बीते दिनों एक हिंदू युवक को बेल्ट से पिटाई और पैरों में गिराकर नाक रगड़वाने का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. वायरल वीडियो को संज्ञान में लेते हुए पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर मुख्य आरोपी युवक को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था. इस मामले में करणी सेना के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ने कहा कि विश्वविद्यालय में आतंकवादी बनाने के ट्रेनिंग दी जा रही है. उन्होंने राष्ट्रपति को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की.
शहर के बन्नादेवी थाना इलाके में स्थित अपने आवास पर रविवार को मीडिया से बात करते हुए करणी सेना के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुकेश सिंह रावल ने कहा कि सोशल मीडिया पर विश्वविद्यालय का एक वीडियो वायरल हो रहा है. उसमें एक हिंदू लड़के को एएमयू कैंपस में ले जाकर बेल्टों से मारा पीटा जा रहा है. पहले बताया गया कि हिंदू युवक को पीटने वाला युवक विश्वविद्यालय का छात्र है. लेकिन अब बताया जा रहा है कि वह विश्वविद्यालय का छात्र नहीं बाहरी युवक है.
करणी सेना के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ने कहा कि यह मामला गंभीर है. विश्वविद्यालय बाहरी सरारती तत्वों का अड्डा बना गया है. यहां हिंदू युवकों को लाकर बाहरी युवकों द्वारा मारा पीटा जा रहा है. विश्वविद्यालय के छात्रावासों को टार्चर रूम बना दिया गया है. इस विश्वविद्यालय का पूरे विश्व में नाम है. विश्वविद्यालय को गंगा-जमुनी तहजीब के लिए जाना जाता था. यहां बड़े-बड़े सेलिब्रिटी देश के उच्च पदों पर आसीन हैं. लेकिन आज यहां बच्चे पढ़ने आते हैं और पढ़ने के साथ-साथ आतंकवादी गतिविधियों में लिप्त हो जाते हैं.
उन्होंने कहा कि यूपी एटीएस ने विश्वविद्यालय के छात्र मन्नान वानी और फैजान अंसारी को गिरफ्तार किया है. छात्र यहां पढ़ने तो आते हैं, लेकिन उनका लिंक पाकिस्तान से कैसे हो जाता है ? उन्होंने कहा कि उन्हें लगता है कि विश्वविद्यालय का अपना ऐसा कोई सेटेलाइट नेटवर्क सिस्टम है ? जिसकी वजह से यहां पढ़ने आने वाले बच्चे आतंकवादी गतिविधियों में संलिप्त हो जाते हैं. जबकि देश में सुरक्षा एजेंसियों हमेशा जांच में जुटी रहती हैं. उन्होंने कहा कि कहीं विश्वविद्यालय में छात्रों को आतंकवादी बनाने की ट्रेनिंग तो नहीं दी जाती है. आखिर यहां पढ़ने वाला छात्र आतंकवादी गतिविधियों में क्यों संलिप्त हो जाता है ? उन्होंने विश्वविद्यालय प्रशासन पर मिलीभगत का आरोप लगाया है.